राजगीर : बिहार राज्य पर्यटन विकास निगम लिमिटेड के पर्यटन सह प्रबंध निदेशक रविवार को राजगीर का एक दिवसीय दौरा पर रोपवे पहुंचे. उन्होंने रोपवे के परिचालन,सिंगल चेयर लिफ्ट को जकड़े रखने वाले वाले रोप,प्रतिदिन की आय, रोपवे प्लेटफाॅर्म सहित घोड़ा कटोरा पहाड़ी झील यात्रा में पर्यटकों के समुचित सुविधा की जांच की. पर्यटन सह प्रबंधन निदेशक उमा शंकर प्रसाद ने रोपवे के वर्तमान सिंगल चेयर लिफ्ट से लेकर परिचालन प्रणाली की बारीकियों से निरीक्षण करते हुए कई निर्देश जारी किये. उन्होंने कहा कि अंतराष्ट्रीय पर्यटन स्थल राजगीर का यह रोपवे पूरे देश ही नहीं बल्कि विश्व पर्यटन के मानचित्र पर अपनी अलग विशेष पहचान रखती है.
जहां सालाना लाखों की संख्या में देशी विदेशी पर्यटकों का आवागमन होता है. इसलिए सर्वप्रथम इसके बेहतर रख रखाव से जुड़े सभी प्रकार के बिंदुओं पर विशेष निरीक्षण के तहत इसकी वर्तमान ख्यामियों के सुधार की दिशा निर्देश दिया. वहीं सिंगल चेयर लिफ्ट पर बैठने के बाद उसमें लगाये जाने वाले लोहे के लॉक सिस्टम को उन्होंने बदल कर बेहतर लॉक लगाने की बात कही. इस दौरान पर्यटक सह प्रबंध निदेशक स्वयं सिंगल चेयर लिफ्ट पर बैठ रोपवे के सही गति के साथ ऊपर के प्लेटफार्म पर पहुंचने में लगने वाले समय व परिचालन के वक्त उसमें बैठे पर्यटकों के संतुलन का जायजा लिया.
साथ में उनकी टीम भी पीछे पीछे थी. उन्होंने शांति स्तूप के समीप पुराने एवं जर्जर हो चुके शौचालय के मरम्मती के अलावा एक और दूसरा शौचालय बनाने की बात कहीं. वहीं पेयजल की समूचित सुविधा के तहत विशेष रूप से पर्याप्त व्यवस्था के लिए वहां उपस्थित रोपवे के प्रबंधक संजीव कुमार को दी.
उन्होंने कहा कि प्रति वर्ष के अक्टूबर माह में विश्व शांति स्तूप परिसर में होने वाले वार्षिकोत्सव के मद्देनजर दो माह पूर्व से ही इसकी सभी तैयारियों पर विभाग की विशेष नजर है. इस दौरान पूछे गये सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि अब जल्द ही बहुप्रतिक्षित नया फोर सीटर रोपवे का निर्माण शुरू हो जायेगा.
इसको निर्माण को तकनीकी संबंधी विभिन्न तथ्यों को लेकर विभाग द्वारा प्रक्रिया युद्ध स्तर पर जारी है. अगले कुछ माह के बाद इसके निर्माण पर काम प्रारंभ हो जायेगा. वहीं उन्होंने घोड़ाकटोरा में भगवान बुद्ध के विशालकाय प्रतिमा की स्थापना की जानकारी देते हुए कहा कि प्रतिमा स्थापित के लिए फाउंडेशन का निर्माण किया जा चुका है. जो कि निर्माण एजेंसी के द्वारा अब प्रतिमा स्थापित किया जाना शेष है. उन्होंने बताया कि स्थापित होने वाली प्रतिमा भगवान बुद्ध द्वारा धर्म चक्र की मुद्रा वाली आसन के रूप में होगी.