लिंगानुपात में गिरावट को रोकने के लिए विभाग ने लिया निर्णय
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लिंग भेद : फैसला आने तक होगी मॉनीटरिंग
लिंगानुपात में गिरावट को रोकने के लिए विभाग ने लिया निर्णय प्रधान सचिव ने डीएम को डीपीओ के लिए अधिकारी को नामित करने का दिया निर्देश मुजफ्फरपुर : गैरकानूनी रूप से गर्भवती महिलाओं का लिंग परीक्षण करने वाले अल्ट्रासाउंड केंद्रों पर कानूनी कार्रवाई का प्रावधान है. लेकिन, कानूनी प्रक्रिया लंबी खींचने के कारण कई बार […]
प्रधान सचिव ने डीएम को डीपीओ के लिए अधिकारी को नामित करने का दिया निर्देश
मुजफ्फरपुर : गैरकानूनी रूप से गर्भवती महिलाओं का लिंग परीक्षण करने वाले अल्ट्रासाउंड केंद्रों पर कानूनी कार्रवाई का प्रावधान है. लेकिन, कानूनी प्रक्रिया लंबी खींचने के कारण कई बार ऐसे केंद्र संचालकों को बच निकलने का मौका मिल जाता है. अब ऐसा नहीं होगा. स्वास्थ्य विभाग ने इसके लिए जिला स्तर पर जिला अभियोजन अधिकारी या सहायक अभियोजन अधिकारी की नियुक्ति का फैसला लिया है.
इनका काम जिला स्तर पर मुकदमों के दायर होने से लेकर फैसला आने तक मामले का फॉलोअप करना होगा. विभाग के प्रधान सचिव आरके महाजन ने डीएम धर्मेंद्र सिंह को इन पदों के लिए अधिकारियों के नाम प्रस्तावित करने को कहा है. यह नियुक्तियां गर्भधारण पूर्व और प्रसव पूर्व निदान तकनीक अधिनियम, 1994 के तहत होगी.
विभाग ने अपंजीकृत अल्ट्रासाउंड केंद्रों को चिह्नित करने व उनका रिकॉर्ड सुरक्षित रखने के लिए ऐसे केंद्रों की मैपिंग कराने का फैसला लिया है. मैपिंग का कार्य स्वास्थ्य विभाग के डेवलपमेंट पार्टनर, गैर सरकारी संगठनों, आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं व आशा कार्यकर्ताओं का सहयोग लिया जायेगा. जिला निरीक्षण समिति प्रत्येक 90 दिनों पर अल्ट्रासांड केंद्रों का नियमित रूप से निरीक्षण करेगी व
अपंजीकृत केंद्रों के खिलाफ कार्रवाई का करेगी. विभाग ने बालिकाओं के जन्म के प्रति आमजनों में सकारात्मक सोच व अधिनियम के प्रचार-प्रसार के लिए जागरूकता अभियान चलाने का भी फैसला लिया है. इसमें सेवानिवृत्त शिक्षकों के साथ-साथ जनप्रतिनिधियों का भी सहयोग लिया जायेगा.
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