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जेल अधीक्षक के विरुद्ध प्राथमिकी का आदेश

जेल अधीक्षक के विरुद्ध प्राथमिकी का आदेश – एसडीजेएम पूर्वी ने मामले की सुनवाई के बाद दिया आदेश- जेल के आटा चक्की में फंसकर घायल होने से कैदी की हुई थी मौत मुजफ्फरपुर. बार-बार आदेश के बाद हत्या के दर्ज मामले में जेल अधीक्षक इ. जितेंद्र कुमार द्वारा न्यायालय में प्रतिवेदन नहीं भेजे जाने के […]

जेल अधीक्षक के विरुद्ध प्राथमिकी का आदेश – एसडीजेएम पूर्वी ने मामले की सुनवाई के बाद दिया आदेश- जेल के आटा चक्की में फंसकर घायल होने से कैदी की हुई थी मौत मुजफ्फरपुर. बार-बार आदेश के बाद हत्या के दर्ज मामले में जेल अधीक्षक इ. जितेंद्र कुमार द्वारा न्यायालय में प्रतिवेदन नहीं भेजे जाने के बाद एसडीजेएम पूर्वी अनुपम कुमारी ने मामले की सुनवाई करते हुए जेल अधीक्षक समेत पांच के विरुद्ध एसएसपी के माध्यम से मिठनपुरा थानाध्यक्ष को प्राथमिकी दर्ज करने का आदेश दिया है. जेल अधीक्षक ने कोर्ट को नहीं दिया प्रतिवेदन :सीतामढ़ी जिले के परिहार थाना क्षेत्र के बेलाछाप निवासी नवीन कुमार ने पिता हरिनंदन राय की हत्या का मामला 17 दिसंबर 2014 को सीजेएम की अदालत में दर्ज कराया था. इसमें शहीद खुदीराम केंद्रीय कारा के अधीक्षक इ. जितेंद्र कुमार, प्रभारी कारा अधीक्षक दीपक कुमार सिंह, जमादार सिपाही रमेश सिंह, सिपाही पकंज सिंह, जमादार वीरेंद्र कुमार को आरोपी बनाया गया था. इसके बाद सीजेएम ने मामले को सुनवाई के लिए एसडीजेएम पूर्वी के यहां स्थानांतरित किया. एसडीजेएम पूर्वी ने मामले की सुनवाई करते हुए 17 जनवरी 2015 को जेल अधीक्षक से प्रतिवेदन की मांग की. सात अप्रैल को जवाब तलब किया था. उसके बाद भी प्रतिवेदन नहीं भेजा, तो छह जुलाई 2015 को डीआइजी एवं एसएसपी के माध्यम से जवाब-तलब किया. बावजूद जेल अधीक्षक ने न्यायालय में प्रतिवदेन नहीं दिया. इसके बाद न्यायालय ने प्राथमिकी का आदेश दिया है. ये है मामला :सीतामढ़ी जिले के परिहार थाना क्षेत्र के बेलाछाप निवासी नवीन कुमार ने 17 दिसंबर 2012 को सीजेएम की अदालत में मामला दर्ज कराया था. इसमें बताया गया था कि मेरे पिता हरिनदंन को हत्या के मामले में आजीवन कारावास की सजा हुई थी. वह सीतामढ़ी में सजा काट रहे थे, लेकिन इस बीच 8 अगस्त 2013 को उनका स्थानांतरण शहीद खुदीराम बाेस केंद्रीय कारा में हो गया. इसके बाद उन्हें लगातार प्रताड़ित किया जाने लगा. बीमार होने के बाद भी उनकी ड्यूटी आटा चक्की के पास लगायी गयी. इस दौरान उनके साथ मारपीट की गयी. इसकी वजह से वह बुरी तरह घायल हो गये. बबाद में एसकेएमसीएच में इलाज के दौरान उनकी मौत हो गयी. जेल अधीक्षक ने मां कपिया देवी को लिखित सूचना देकर पोस्टमार्टम के बाद शव को ले जाने की सूचना दी.

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