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छोटे हाइड्रिल पावर से बदल जायेगी उत्तर बिहार की सूरत

मुजफ्फरपुर: केरल सरकार के पूर्व ऊर्जा सलाहकार और एनटीपीसी में जीएम रहे सी अशोकन का कहना है कि उत्तर बिहार में छोटे हाइड्रिल पावर से तस्वीर बदल सकती है. ये बीस से सौ किलोवाट तक हो सकते हैं. इन्हें बनाने में खर्च करोड़ों में नहीं बल्कि लाखों में आयेगा. इन प्रोजेक्ट के लिए पानी की […]

मुजफ्फरपुर: केरल सरकार के पूर्व ऊर्जा सलाहकार और एनटीपीसी में जीएम रहे सी अशोकन का कहना है कि उत्तर बिहार में छोटे हाइड्रिल पावर से तस्वीर बदल सकती है. ये बीस से सौ किलोवाट तक हो सकते हैं. इन्हें बनाने में खर्च करोड़ों में नहीं बल्कि लाखों में आयेगा. इन प्रोजेक्ट के लिए पानी की जरूरत होगी, जो यहां पर बड़ी मात्र में उपलब्ध हैं.
सी अशोकन मुजफ्फरपुर की दो दिन की यात्र पर आये हैं. वह यहां वरीय चिकित्सक डॉ किंजल्क के यहां रुके हैं. बातचीत के दौरान विजयन ने बताया कि 1997 में मैं उस समय केरल सरकार में ऊर्जा सलाहकार बना था, जब वहां पर बिजली का हालत बहुत खराब थी. उद्योगों को बिजली मिलती ही नहीं थी.
तत्कालीन ऊर्जा मंत्री और अब के मुख्यमंत्री पी विजयन चाहते थे कि राज्य में बिजली की स्थिति ठीक हो. इसके लिए वह दीर्घ व तात्कालिक उपायों पर जोर दे रहे थे, लेकिन यह इतना आसान काम नहीं था. उस समय केवल पश्चिम बंगाल सरकार के पास खपत से ज्यादा बिजली थी, जिसे केरल सरकार ने खरीदने का फैसला लिया और दो महीने में तीन सौ मेगावाट बिजली खरीदी जाने लगी, जिससे राज्य में बिजली की हालत कुछ सुधरी. इसके बाद ऊर्जा मंत्री ने सालों से लटके पावर प्रोजेक्ट की जमीनी हकीकत जानना शुरू किया और दस-दस सालों से बंद पड़े प्रोजेक्ट पर फिर से काम शुरू करवाया, जिससे दो साल के अंदर केरल के अंदर ही एक हजार मेगावाट से ज्यादा बिजली का उत्पादन होने लगा.
सी विजयन कहते हैं कि उत्तर बिहार में पानी की अधिकता है. इसलिए यहां बड़े की जगह छोटे
हाइड्रिल प्रोजेक्ट लगाये जा सकते हैं, जिनकी क्षमता बिजली से एक सौ किलोवाट तक हो सकती है. इन पर ज्यादा खर्च भी नहीं आयेगा.
साथ ही इन्हें चलाने के लिए किसी विशेषज्ञ की जरूरत
नहीं होगी. गांव के लोग खुद इन्हें चला सकते हैं. इनके रख-रखाव का खर्च भी काफी कम होगा. इस तरह से यहां का बिजली संकट लंबे समय तक के लिए दूर किया जा सकता है. विजयन कहते हैं कि पूर्व राष्ट्रपति डॉ कलाम ने भी बिहार में छोटे हाइड्रिल प्रोजेक्ट लगाने की बात कही थी.
वैशाली के विकास से बदल जायेगा पर्यटन
सी विजयन का कहना है कि मुजफ्फरपुर जिले से सटे वैशाली के विकास से उत्तर बिहार की स्थिति बदल जायेगी. वहां पर ऐतिहासिक महत्व के स्थल आज जिस हालत में हैं. उन्हें देख कर परेशानी होती है. अभिषेक पुष्करणी से लेकर अन्य जो भी स्थल हैं. उनका विकास होना चाहिये, जिससे यह पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र बन सकता है. महावीर स्वामी के जन्मस्थल के विकास में भी राज्य सरकार को रुचि दिखानी चाहिये.

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