17.5 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

प्रात: 6.16 से 10.30 तक कलश स्थापन का शुभ मुहूर्त

मधुबनी : शारदीय नवरात्र में माता के पूजा अर्चना की तैयारी अंतिम चरण में है. रविवार को कलश स्थापन के साथ ही नवरात्र में मां के नौ स्वरूप, दस महाविद्या और 108 नामों के श्रद्धालु भक्त मां के अराधना विशेष रूप से करेंगे. रविवार को होने वाली कलश स्थापना को लेकर श्रद्धालुओं में उत्साह है. […]

मधुबनी : शारदीय नवरात्र में माता के पूजा अर्चना की तैयारी अंतिम चरण में है. रविवार को कलश स्थापन के साथ ही नवरात्र में मां के नौ स्वरूप, दस महाविद्या और 108 नामों के श्रद्धालु भक्त मां के अराधना विशेष रूप से करेंगे. रविवार को होने वाली कलश स्थापना को लेकर श्रद्धालुओं में उत्साह है. भारी बारिश के बाद भी श्रद्धालु पूजा अर्चना के लिए नव वस्त्र सहित पूजा पाठ की सामग्रियों की खरीदारी करते रहे.

शुभ मुहूर्त में हो कलश स्थापना. किसी भी देवी देवता के पूजा में कलश स्थापन का विशेष महत्व होता है. इसके कारण कलश हमेशा शुभ मुहूर्त में ही स्थापित करना चाहिए.
जानकारी देते हुए ज्योतिषाचार्य पंकज झा शास्त्री ने बताया कि कलश विश्व ब्रह्मांड का, विराट ब्रह्म का भू- पिंड (ग्लोब) का प्रतीक है. इसे शांति व सृजन संदेश का वाहक कहा जाता है. संपूर्ण देवता कलश रूपी पिंड या ब्रह्मांड में व्यष्टिया समिष्ट में एक साथ समाए हुए हैं. कलश में सभी देव शक्ति, तीर्थ आदि का संयुक्त प्रतीक मानकर उसे स्थापित एवं पूजित किया जाता है.
वैदिक मंत्र के अनुसार कलश मुख में विष्णु, कंठ में रूद्र तथा मूल में ब्रह्मा निवास करते है. कलश के मध्य में सभी मातृ शक्तियां निवास करती है. कलश में समस्त सागर, सप्त द्वीपो सहित पृथ्वी, गायत्री, सावित्री, शांतिकारक तत्व, चारों बेद, सभी देव, आदित्य देव, विश्वदेव, पितृदेव एक साथ निवास करते हैं.
कलश की पूजा मात्र से एक साथ सभी प्रसन्न होकर यज्ञ कर्म को सुचारू रूपेण संचालित करने की शक्ति प्रदान करता है. कलश में पवित्र जल का मूल भाव यह है कि हमरा मन भी जल की तरह शीतल, स्वच्छ एवं निर्मल बना रहे. हमारे शरीर रूपी पात्र हमेशा श्रद्धा संवेदना, तरलता व सरलता से ओत प्रोत रहे. कलश स्थापन का श्रीगणेश करते हुए नवरात्र में प्रथम दिन मां शैलपुत्री की पूजा अराधना के साथ नौ दिनों तक आदि शक्ति जगदंबा के नौ स्वरूपों में व्यस्त रहेंगे. शक्ति का यह स्वरूप भक्तों को मनोवांछित फल प्रदान करता है.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें