मोहनिया (कैमूर) : प्रखंड क्षेत्र के अकोढ़ी गांव में स्थित सरकारी विद्यालय के पुराने भवन में गांव का ही एक व्यक्ति निजी स्कूल चला रहा है. अकोढ़ी मेला गांव में विद्यालय की स्थापना 1971 में हुई थी. विद्यालय के लिए पूर्व मुखिया शिवधार यादव के पिता ने जमीन दान में दी थी. 1971 में यहां […]
मोहनिया (कैमूर) : प्रखंड क्षेत्र के अकोढ़ी गांव में स्थित सरकारी विद्यालय के पुराने भवन में गांव का ही एक व्यक्ति निजी स्कूल चला रहा है. अकोढ़ी मेला गांव में विद्यालय की स्थापना 1971 में हुई थी. विद्यालय के लिए पूर्व मुखिया शिवधार यादव के पिता ने जमीन दान में दी थी. 1971 में यहां स्कूल बनने के बाद पठन पाठन शुरू हुआ.
उस वक्त यह विद्यालय प्राथमिक था. लेकिन, दो वर्ष पूर्व इस विद्यालय को मध्य विद्यालय में अपग्रेड कर नयी बिल्डिंग में शिफ्ट कर दिया गया. पुरानी स्कूल बिल्डिंग से 300 मीटर की दूरी पर बनी नयी बिल्डिंग में अब स्कूल के बच्चे पढ़ते हैं. लेकिन, अब स्कूल की पुरानी बिल्डिंग खाली होने के बाद उस बिल्डिंग में गांव के ही एक व्यक्ति ने एक निजी विद्यालय खोल लिया है.
शुक्रवार को उक्त गांव पहुंच कर पुराने विद्यालय के भवन की स्थिति का पता लगाया गया. हालांकि उस वक्त स्कूल में कोई बच्च नहीं मिला. लोगों से जानकारी ली गयी तो पता चला कि न्यूज कवरेज के डर से स्कूल बंद कर सभी चले गये. उत्क्रमित मध्य विद्यालय के प्रधानाध्यापक विद्यासागर सिंह ने बताया कि पुरानी बिल्डिंग में पूर्व मुखिया शिवाधार यादव का निजी स्कूल चलता है.
यह सरासर गलत है. इसकी सूचना प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी को दे दी गयी है. बीइओ अरुण प्रकाश ने बताया कि सरकारी भवन में निजी विद्यालय चलाना गैर कानूनी है. जांच कर कार्रवाई की जायेगी.