गोपालगंज : मुंबई के ट्रेवल एजेंसी संचालक केशव सिंह के बेटे का अपराधियों ने नेशनल हाइवे 28 पर दानापुर से स्काॅर्पियो समेत फिरौती की रकम वसूलने की नीयत से अपहरण कर लिया. सूचना मिलते ही एसपी निताशा गुड़िया ने एसडीपीओ मनोज कुमार, नगर थानाध्यक्ष इंस्पेक्टर संजीव कुमार सिंह के नेतृत्व में टीम का गठन कर […]
गोपालगंज : मुंबई के ट्रेवल एजेंसी संचालक केशव सिंह के बेटे का अपराधियों ने नेशनल हाइवे 28 पर दानापुर से स्काॅर्पियो समेत फिरौती की रकम वसूलने की नीयत से अपहरण कर लिया. सूचना मिलते ही एसपी निताशा गुड़िया ने एसडीपीओ मनोज कुमार, नगर थानाध्यक्ष इंस्पेक्टर संजीव कुमार सिंह के नेतृत्व में टीम का गठन कर छापेमारी का आदेश दिया.
पुलिस टीम ने संभावित ठिकानों को खंगालना शुरू किया. सीवान और पूर्वी चंपारण की पुलिस को भी अलर्ट कर छापेमारी शुरू कर दी गयी. इस बीच पुलिस ने कुचायकोट थाना क्षेत्र के दाहा नदी के पुल के पास से लावारिश स्थिति में स्काॅर्पियो को बरामद किया. पुलिस दबिश के कारण अपहर्ताओं ने युवक को सीवान के बड़हरिया में मुक्त कर दिया़ बड़हरिया पुलिस ने युवक को कब्जे में लेकर परिजनों को सूचना दी. पुलिस ने युवक से पूछताछ के बाद छापेमारी शुरू कर दी.
एसपी ने पत्रकार वार्ता के दौरान बताया कि पुलिस दबिश के कारण अपहर्ताओं की फिरौती की रकम मांगने का मौका नहीं मिला. एसपी ने दावा किया है कि जल्द ही गैंग का खुलासा होगा़ उन्होंने बताया कि मंगलवार की रात नगर थाना क्षेत्र के वीएम फील्ड के पूरब वाले मुहल्ले के रहनेवाले मांझा थाना क्षेत्र के भुवाली टोला गांव के निवासी केशव सिंह के पुत्र रितेश कुमार को प्रिया नामक युवती ने फोन कर दानापुर मिलने के लिए बुलाया. रात के 10 बजे अपनी स्काॅर्पियो से जब रितेश दानापुर पहुंचा,
तो युवती ने सड़क के किनारे रुकने को कहा. इतने में दो बाइकों पर सवार चार अपहर्ताओं ने और उसे कब्जे में ले लिया. अपराधी पहले उसे सासामुसा की तरफ ले गये, जहां से स्काॅर्पियो से उतार कर सीवान की ओर ले गये. सुबह 4.24 बजे अपराधियों का एसएमएस उसके पिता के मोबाइल पर आया. तब परिजनों को अपहरण की जानकारी मिली. एसएमएस मिलते ही मुंबई से उसके पिता गोपालगंज के लिए निकल पड़े. एसपी ने बताया कि पुलिस ने मोबाइल लोकेशन के आधार पर ताबड़तोड़ छापेमारी की, जिससे घबराये अपहर्ता उसे छोड़ने पर विवश हो गये.
आखिर बड़हरिया में कैसे मुक्त हुआ युवक : अपहर्ताओं ने जब रितेश का अपहरण दानापुर से किया, तो आखिर वह बड़हरिया कैसे पहुंच गया. पुलिस फिलहाल बताने से परहेज कर रही है. चौकाने वाली बात यह भी है कि मांझा थाना क्षेत्र के दानापुर से जब अपहरण हुआ, तो कुचायकोट के सासामुसा में स्काॅर्पियो कैसे से पहुंची. आखिर मांझा और कुचायकोट पुलिस ने प्राथमिकी दर्ज क्यों नहीं की. एफआइआर कराने के लिए भी वरीय पुलिस अधिकारियों को मशक्कत करनी पड़ी. बाद में नगर थाने में प्राथमिकी दर्ज हुई. प्राथमिकी दर्ज करने के साथ ही पुलिस सक्रिय हो गयी.
युवती को कभी नहीं देखा था : युवक को फोन कर बुलानेवाली युवती कौन है? पुलिस उसे अपहर्ताओं का सरगना मान रही है. वह पिछले डेढ़-दो माह से रितेश सिंह से लगातार मोबाइल पर संपर्क में थी. रितेश उसके बुलाने के बाद स्काॅर्पियो से मिलने के लिए गया था. इससे पहले युवती से कभी मिला नहीं था और न ही उसका चेहरा देखा था. रितेश ने पुलिस को युवती का नाम प्रिया बताया. उसने जिसकी बेटी बतायी थी उस नाम का कोई व्यक्ति दानापुर में नहीं मिला है. युवती ने रितेश को खुद को ठेकेदार की बेटी बताया था. पुलिस ने जब जांच की, तो न तो उस नाम की कोई लड़की पायी गयी और न ही उसका पता सही निकला. मोबाइल के लोकेशन के आधार पर पुलिस कार्रवाई में जुटी है.
विदेश भेजने का कारोबार करते हैं रितेश के पिता : मुंबई में ट्रेवल एजेंसी खोल कर केशव सिंह युवाओं को विदेश में नौकरी दिलाने का कारोबार करते हैं. इस कारोबार के कारण अपराधियों के गैंग ने उनके बेटे रितेश कुमार सिंह को निशाना बनाया और युवक को अपने जाल में फंसाने के लिए युवती का सहारा लिया गया. युवती पिछले डेढ़-दो माह से प्रतिदिन काफी देर तक मोबाइल पर दर्जनों बार बात करती थी. जब अपने जाल में पूरी तरह से फंसा लिया, तब उसे बुला कर घटना को अंजाम दिया गया. महज संयोग था कि पुलिस ऐन न वक्त पर सक्रिय हो गयी और उसे सीवान से बरामद कर लिया गया.
आक्रोश को देख हरकत में आयी पुलिस : अपहरण की सूचना पर बुधवार की सुबह से ही नगर थाने पर लोगों की भीड़ इकट्ठी होने लगी थी. विधायक सुबास सिंह लगातार पुलिस अधिकारियों के संपर्क में थे. लोगों के आक्रोश को देख पुलिस हरकत में आयी और कार्रवाई शुरू हुई.