गया: राज्य निर्वाचन आयोग ने मंगलवार को गया जिले के सात बूथों पर मतदाता सूची में नाम जोड़ने के लिए विशेष कैंप का आयोजित करने का निर्देश दिया है. लेकिन, इसकी जानकारी सोमवार की शाम पांच बजे तक जिला उप निर्वाची पदाधिकारी को नहीं थी. राज्य निर्वाचन आयोग का हवाला दिये जाने के बाद भी कुछ भी बताने में असमर्थता जतायी. सदर एसडीओ ने सिर्फ इतना कहा कि उनके क्षेत्र में सात बूथों से शिकायत मिली थी.
उन सात बूथों में डेल्हा मध्य विद्यालय, तेल मिल के बूथ नंबर एक व सात, आरएमपी स्कूल खरखुरा के बूथ नंबर 23, लोको मध्य विद्यालय के बूथ संख्या 30, आंगनबाड़ी केंद्र सह प्राथमिक विद्यालय, कुष्ठ अस्पताल छोटकी नवादा के बूथ संख्या 33 व हरानचंद्र मध्य विद्यालय, किरानी घाट के बूथ नंबर 72 पर 11 मार्च को दोबारा मतदाता सूची में नाम जुड़वाने, सुधारने व हटवाने आदि के लिए विशेष कैंप लगाये जायेंगे.
पूछा गया कि प्रशासनिक तौर पर हर बूथों से पांच ही लोगों के नाम जोड़ने, हटवाने या सुधार कराने का निर्देश बीएलओ को दिया गया है, इस पर उन्होंने कहा ऐसी कोई बात नहीं है. दरअसल जिनका नाम हैं या दूसरी जगह हैं और जहां रह रहे हैं, वहां भी नाम जुड़वाने की कोशिश कर रहे हैं, उनका नाम नहीं जोड़ने या फिर जिन्होंने फार्म ही गलत भरा है, उनका नाम कैसे जोड़ा, हटाया या सुधार किया जा सकता है.
गौरतलब है कि चुनाव आयोग के सुव्यवस्थित मतदाता शिक्षा व जागरूकता अभियान के तहत जिले में नौ अगस्त को मतदाता सूची में नाम जोड़ने के लिए सभी मतदान केंद्रों पर विशेष कैंप का आयोजन किया गया था. पर, बूथ लेवल अफसर (बीएलओ) के समय पर नहीं पहुंचने व उनके पास पर्याप्त आवेदन फॉर्म उपलब्ध नहीं रहने के कारण अधिसंख्य वोटरों को निराशा हाथ लगी. प्रभात खबर ने 10 मार्च के अंक में ‘नाम जोड़ने का कोरम पूरा’ शीर्षक से प्रमुखता से छापी. इसे राज्य निर्वाचन आयोग ने संज्ञान लेते हुए 11 मार्च को गया जिले में दोबारा नाम जोड़ने का आदेश दिया है. राज्य निर्वाचन आयोग के कार्यालय से 9470011543 पर बात करने को कहा गया.
जब इस नंबर पर संपर्क किया तो गया जिले में 11 मार्च को दोबारा नाम जोड़ने के आदेश की पुष्टि करते हुए विशेष जानकारी जिला निर्वाचन कार्यालय से प्राप्त करने की बात कही गयी. जिला उप निर्वाची पदाधिकारी नौशाद आलम के मोबाइल नंबर 9472872101 पर शाम पांच बजे संपर्क किया गया, तो उन्होंने दोबारा नाम जोड़ने संबंधी आदेश की जानकारी नहीं होने की बात कही. जब राज्य निर्वाचन आयोग का हवाला दिया तो उन्होंने जानकारी होने की बात स्वीकार की. पर, कुछ भी विशेष जानकारी देने में असमर्थता जतायी.