दरभंगा : प्रशासनिक काम में राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद के सीधे हस्तक्षेप के राजनीतिक हलकों में सरगर्मी बढ़ गयी है. साथ ही प्रशासनिक महकमे में भी हलचल तेज हो गयी है. पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद के निर्देश से संबंधित पत्र जारी करनेवाले सीएस ने वो चिट्ठी राज्य मुख्यालय ने तलब की है. स्वास्थ्य विभाग के प्रधान सचिव ने पत्र की जांच अपने स्तर से शुरू कर दी है.
मामला डीएमसीएच में प्रसूतओं को दी जानेवाली सुविधाओं से संबंधित है. इसके संबंध में जिले के सिविल सजर्नशेष पेज 15 पर
लालू के निर्देश
ने पत्र जारी किया था, जिसमें उन्होंने डीएमसीएच से अधीक्षक से अस्पताल की ममता की ओर से जानेवाली सुविधाओं को लेकर लिखा गया था. इस पर कार्रवाई करने को कहा गया था. ये पत्र सिविल सजर्न ने पत्रंक 32 के जरिये 11 जनवरी को जारी किया था. इसमें स्पष्ट रूप से लिखा है कि राजद के राष्ट्रीय अध्यक्ष ने दूरभाष पर उन्हें इस संबंध में निर्देश दिया है. सीएस डा. सिंह ने अस्पताल अधीक्षक से कार्रवाई के बाबत जानकारी भी उपलब्ध कराने को कहा है ताकि वे लालू प्रसाद को इस संबंध में अवगत करा सके.
प्रदेश में महागठबंधन की सरकार बनने के बाद से भाजपा की अगवाई वाला विपक्ष लालू प्रसाद के हाथ में सरकार का रिमोट होने की बात कहता रहा है. वहीं, पत्र सामने आने के बाद स्वास्थ्य विभाग के वरीय अधिकारी सक्रिय हो गये हैं. सूत्रों की माने, तो विभाग के प्रधान सचिव ने सीएस के द्वारा जारी पत्र की प्रति मंगवा ली है. मंगलवार की दोपहर यह पत्र उनके पास भेज भी दिया गया. इस संबंध में जब सिविल सर्जन डा. सिंह से संपर्क किया गया तो उन्होंने डीएमसीएच अधीक्षक को पत्र लिखे जाने से ही इंकार कर दिया. राजद सुप्रीमो का फोन आने के सवाल पर उन्होंने जानकारी नहीं होने की बात कहकर खुद को ही सवालों के घेरे में ला खड़ा कर दिया.