अज्ञात के खिलाफ दर्ज हुआ था बहेड़ी थाना में मामला
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छह जिलों के 16 अपराधियों ने गैंग बना कर दिया था घटना को अंजाम
अज्ञात के खिलाफ दर्ज हुआ था बहेड़ी थाना में मामला पुलिस छावनी में तब्दील रहा पूरा लहेरियासराय पुलिस पदाधिकारी लेते रहे सुरक्षा व्यवस्था का जायजा दरभंगा : बहेड़ी दोहरे इंजीनियर हत्याकांड मामले को अंजाम देने के लिए छह जिले के 16 अपराधियों ने एक टीम गठित कर घटना को अंजाम दिया. विदित हो कि 26 […]
पुलिस छावनी में तब्दील रहा पूरा लहेरियासराय
पुलिस पदाधिकारी लेते रहे सुरक्षा व्यवस्था का जायजा
दरभंगा : बहेड़ी दोहरे इंजीनियर हत्याकांड मामले को अंजाम देने के लिए छह जिले के 16 अपराधियों ने एक टीम गठित कर घटना को अंजाम दिया. विदित हो कि 26 दिसंबर 2015 को एके-47 की तड़तड़ाहट से पूरा जिला दहल उठा था. इस घटना को लेकर बहेड़ी थाना में अज्ञात लोगों के विरुद्ध कांड संख्या 270/2015 दर्ज किया गया था. पुलिस ने अनुसंधान में तेजी लाते हुए मुकदमा में 16 लोगों के विरुद्ध आरोप पत्र समर्पित किया था.
इसमें पूर्वी चंपारण जिला के मेहसी थाना क्षेत्र के मरुवाबाद गांव निवासी स्व. ललन पाठक के पुत्र मुकेश पाठक, शिवहर जिला के पुनरहिया थाना क्षेत्र के दोस्तीया गांव निवासी चन्द्रशेखर झा के पुत्र संतोष झा, सीतामढ़ी जिला के बथनाहा थाना क्षेत्र के बथनाहा गांव निवासी सुबोध झा के पुत्र विकास झा उर्फ कालिया, शिवहर जिला के श्यामपुर भतहा थाना क्षेत्र के डुमरी गांव निवासी स्व. वेद प्रकाश झा के पुत्र अभिषेक झा, सीतामढ़ी जिला के बेलसंड थाना क्षेत्र के हंसौर गांव निवासी स्व. सत्येन्द्र झा के पुत्र ॠषिकेश कुमार झा, मोतिहारी (पूर्वी चंपारण) जिला के चकिया थाना क्षेत्र के कोईरगामा गांव निवासी विजय दूबे के पुत्र निकेश दूबे, बेतिया (पश्चिम चम्पारण) जिला के बैरिया थाना क्षेत्र के मछरगामा, ताल मोकाम खिरियाघाट गांव निवासी स्व. नर्मदेश्वर द्विवेदी के पुत्र सुबोध दूबे उर्फ अजय कुमार द्विवेदी, सीतामढ़ी जिला के नानपुर थाना क्षेत्र के कोइली गांव के बटेश्वर झा के पुत्र अंचल झा, सीतामढ़ी जिला क्षेत्र के रून्नीसैदपुर थाना क्षेत्र के मानीक चौक कमन्दर टोला गांव निवासी चन्द्रकांत झा के पुत्र टुन्ना झा, पिपराही थाना के क्षेत्र बेलवाघाट गांव निवासी पवन झा के पुत्र पिन्टू झा उर्फ बाबा,
सीतामढ़ी जिला के नानपुर थाना क्षेत्र के बेटुआ गांव निवासी रामबाबू झा के पुत्र करण झा उर्फ विकास झा, शिवहर जिला के शिवहर थाना क्षेत्र के रसलपुर गांव निवासी अशोक तिवारी के पुत्र पिन्टू तिवारी, दरभंगा के बहेड़ी थाना क्षेत्र के शिवराम गांव निवासी स्व. महेश लाल देव के पुत्र अजय कुमार उर्फ पिंटू लाल देव, दिनेश लाल देव के पुत्र संजय लाल देव, बहेड़ी के पूर्व प्रमुख मुन्नी देवी, मुजफ्फरपुर जिला के औराई थाना क्षेत्र के जनाद गांव निवासी अजीत मिश्र के पुत्र चुन्नू मिश्र उर्फ सुमित मिश्र शामिल हैं. हालांकि इस मामले में अदालत ने ऋषि झा, सुबोध दूबे, टुन्ना झा व अंचल झा को पूर्व में निर्दोष पाते हुए रिहा करने का आदेश दिया था.
दरभंगा. दोहरे इंजीनियर हत्याकांड में बुधवार को सजा की बिंदु पर निर्णय सुनाए जाने को लेकर न्यायालय परिसर की सुरक्षा कड़ी कर दी गई थी. पूरे परिसर की किलांबदी कर दी गयी थी. मालूम हो कि बुधवार को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से सभी दस दोषियों को अदालत ने सजा सुनाई, बावजूद इसे लेकर न्यायालय परिसर की सुरक्षा बढ़ दी गयी थी. न्यायालय खुलने के पश्चात न्यायालय परिसर के सभी प्रवेश द्वारों पर कड़ी चौकसी बरती जा रही थी. सुरक्षा कर्मियों द्वारा प्रत्येक आने-जाने वाले लोगों पर नजर रखी जा रही थी. अन्य दिनों से आज न्यायालय परिसर में सुरक्षा व्यवस्था काफी बढ़ी हुई थी.
न्यायालय परिसर में आने वाले लोगों की मेटल डिटेक्टर से जांच की जा रही थी. न्यायालय परिसर के साथ-साथ न्यायालय परिसर के बाहर भी सुरक्षाकर्मी तैनात दिख रहे थे. न्यायालय परिसर की सुरक्षा व्यवस्था को लेकर न्यायालय परिसर में वरीय पुलिस पदाधिकारी सहित अन्य पुलिसकर्मी मुस्तैद थे. न्यायालय खुलने के पश्चात इस मामले में निर्णय सुनाये जाने को ले लोगों के बीच तरह-तरह की चर्चा हो रही थी. अदालत ने शाम लगभग चार बजे अपना फैसला सुनाया.
जेल के भीतर की भी सुरक्षा कड़ी
दरभंगा. दोहरे इंजीनियर हत्याकांड मामले में बुधवार को सजा की बिंदु पर निर्णय सुनाए जाने को लेकर दरभंगा व्यवहार न्यायालय परिसर सहित मंडल कारा दरभंगा की सुरक्षा भी कड़ी कर दी गई थी. मंडल कारा में कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच सभी दस दोषियों को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग रूम में लाया गया, जहां उसे अदालत द्वारा सजा सुनाई गई. जेल के अंदर सहित बाहरी परिसर में भी सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम थे.
75 करोड़ की रंगदारी के लिएकर दी थी दो अभियंताओं की हत्या
दरभंगा. साढ़े सात सौ करोड़ की लागत से सड़क निर्माण करा रहे सी एंड सी कंपनी से अपराधियों ने योजना की राशि का दस प्रतिशत राशि रंगदारी के रूप में देने की मांग की थी. यह मांग मांग पूरी नहीं किये जाने पर जिले बहेड़ी गंगदह में निर्माण स्थल पर अपराधियों ने 26 दिसंबर 2015 को एके- 47 से दिनदहाड़े गोलियों से भून दिया था. इसमें बेगूसराय निवासी अभियंता मुकेश कुमार व डेहरी ओन सोन निवासी अभियंता ब्रजेश कुमार की मौत हो गयी थी.
ठोंक रही थीं गोबर, गोलियों की आवाज सुनते ही जान बचाकर भागी थीं महिलाएं
सुबोध नारायण पाठक4 बेनीपुर
इंजीनियर हत्या कांड में दोषियों को सजा सुनाये जाने के साथ ही बहेड़ी प्रखंड के गंगदहवासियों के सामने उस खौफनाक मंजर की याद ताजा हो आयी है. उस घटना के चश्मदीदों के चेहरे पर दशहत अभी भी नजर आ रहे हैं. 26 दिसंबर 2015 को सी एण्ड सी कंपनी के दो अभियंता मुकेश कुमार एवं ब्रजेश कुमार की हुई हत्या के ढाई साल से अधिक बीत जाने के बाद भी घटना स्थल की दीवार पर गोलियों के निशान की ही तरह चश्मदीद दर्शनिया देवी एवं लुखिया खातून के दिल में खौफ व्याप्त है. जिस समय दोनों अभियंताओं की हत्या हुई उस समय किशुन यादव की 60 वर्षीय पत्नी दर्शनिया देवी सड़क किनारे गोबर ठोक रही थी. अचानक गोलियों की तड़तड़ाहट कानों में पड़ी. गोली चलने की बात समझ में आते ही वह जान बचा कर भागी. घटना के ढाई साल बीत जाने तथा उसमें संलिप्त अपराधियों को न्यायालय से सजा सुना दिये जाने के बावजूद कुछ भी बोलने से परहेज करती हैं. काफी कुरेदने पर कहती हैं, उस दिन तो भगवान ने ही मेरी रक्षा की. वे लोग बड़े खतरनाक हैं. कब क्या करेगा कौन जानता. उन आतताइयों जो भी सजा मिलेगी, वह कम ही होगी. शिवराम गंगदह पंचायत के वार्ड सदस्य लुखिया देवी कहती हैं कि मैं घटना के कुछ देर पहले तक यहीं थी. दोनों अधिकारी यहीं कुर्सी पर बैठे लताम (अमरूद) खा रहे थे.
इसी बीच सुना जो किसी ने उन लोगों को गोली मार दी. ऐसे अपराधियों को तो फांसी होनी चाहिए.
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