भागलपुर: ग्रामीण क्षेत्रों के 30 दवा दुकानों को ड्रग इंस्पेक्टर ने निलंबित कर दिया है. साथ ही शहरी क्षेत्र के 28 दवा दुकानदारों को भी नोटिस दिया गया है. दिसंबर में ग्रामीण क्षेत्र के 30 दुकानदारों को बिल नहीं दिखाने व कोरेक्स सहित अन्य दवाओं के बारे में सही जानकारी नहीं देने के कारण यह कार्रवाई की गयी है. इसमें एक से दो माह तक के लिए दुकानों को निलंबित किया गया है. वहीं शहरी क्षेत्र के भी दुकानदारों को नोटिस के माध्यम से कहा गया है कि वे सभी दवाओं का बिल एकत्र कर विभाग को दें.
विदित हो कि दवा दुकानदारों के पास कई ऐसी दवा होती है जिनका उनके पास बिल नहीं रहता है. ऐसे में कर चोरी व विभागीय कार्य में बाधा डालने के आरोप में दुकानदारों को चेतावनी दी गयी है कि वे 10 दिन के अंदर अपना बिल दुरुस्त कर लें. दवा का बिल नहीं दिखाने वाले दुकानदारों के खिलाफ कार्रवाई की जायेगी. इस संबंध में ड्रग इंस्पेक्टर अमोद कुमार ने बताया कि हमलोग नियमित कार्रवाई करते रहते हैं. इसी क्रम में यह कार्रवाई हुई है. आगे भी कार्रवाई की जायेगी.
दुकानदारों के बीच हड़कंप
सोमवार को दवा दुकान में डीआइ की टीम द्वारा की गयी छापेमारी के बाद मंगलवार को शहर के दवा दुकानदारों के बीच हड़कंप था. दुकानदार दवाओं का बिल जुटाने में लग गये हैं. इस संबंध में ऑल इंडिया ड्रग एसोसिएशन के सचिव शंकर प्रसाद घोष ने बताया कि कोरेक्स की दवा पीने से मौत नहीं होती है. इसका बिल दुकानों में रहता है पर कई बार सामान लेने व देने में बाद में बिल दुकानदारों को दिया जाता है. पर बिल सबके पास रहता है.