कहलगांव : बिहार विधानसभा के पूर्व अध्यक्ष व वर्तमान में कहलगांव विधानसभा क्षेत्र के कांग्रेस विधायक सदानंद सिंह से उनके मोबाइल पर फोन कर 15 लाख की रंगदारी मांगी गयी. पैसे नहीं देने पर भागलपुर के जयकृष्ण शर्मा की तरह हत्या कर देने की धमकी दी गयी. इस बाबत विधायक ने 27 मई को प्राथमिकी दर्ज करायी थी. पुलिस ने मोबाइल टावर लोकेशन व कॉल डिटेल के सहारे अंतीचक थाना क्षेत्र के नवादा गांव निवासी टेंपो चालक निरंजन साह को उसके घर से गिरफ्तार कर लिया.
बिना नंबर के ऑटो पर कहा पैसे रखने को
विधायक श्री सिंह ने बताया कि पहली बार 27 मई को उनके मोबाइल पर फोन कर सवा लाख रुपये रंगदारी देने की मांग की गयी. इस बाबत उन्होंने 27 मई को कहलगांव थाना में प्राथमिकी दर्ज करायी. पुन: 29 मई को दो बार उनके मोबाइल पर कॉल आया. श्री सिंह ने पास बैठे प्रखंड कांग्रेस अध्यक्ष शाहबाज आलम को बात करने के लिए अपना मोबाइल दे दिया. दूसरी ओर से कॉलर ने गाली-गलौज करते हुए 15 लाख रुपये रंगदारी की मांग की. उन्हें गांगुली पार्क चौक पर एक बिना नंबर के ऑटो पर पैसा रखने को कहा गया. इसकी सूचना भी विधायक ने पुलिस को दी. पुलिस ने विधायक श्री सिंह से इस मामले को गुप्त रखने का आग्रह करते हुए अनुसंधान शुरू किया.
और लोगों की हो सकती है संलिप्तता
एएसपी नीरज कुमार सिंह की मॉनिटरिंग में कहलगांव थानाध्यक्ष पंकज कुमार सिंह व अन्य अधिकारियों ने रंगदारी मांगने वाले के मोबाइल का टावर लोकेशन व कॉल डिटेल निकाला, तो पता चला कि जिस मोबाइल नंबर से रंगदारी मांगी जा रही थी, वह प्रखंड की ओरियप पंचायत के नवादा गांव निवासी मटरू साह के पुत्र निरंजन साह उर्फ पप्पू के नाम से है. 27 मई को जिस समय रंगदारी मांगी गयी थी, वह नवादा में ही था. पुलिस ने 30 मई की देर शाम छापेमारी कर निरंजन साह को उसके नवादा स्थित घर से गिरफ्तार कर लिया. छापेमारी में कहलगांव थानाध्यक्ष पंकज कुमार सिंह, एसआइ अजय कुमार, एसआइ सुबोध पंडित, अंतीचक थानाध्यक्ष फारूक मुस्तफा सैफ जवानों के साथ थे. पुलिस ने बताया कि इस मामले में और लोगों की भी संलिप्तता हो सकती है. छानबीन की जा रही है.
सर, चचेरे भाई ने फोटो व वोटर कार्ड लिया था
गिरफ्तार निरंजन साह ने पूछताछ में पुलिस को बताया कि उससे गलती हुई है कि उसने अपने चचेरे भाई को वोटर कार्ड और दो फोटो दिया था. उसने आदित्य श्रृंगार स्टोर भदेर से सीम खरीदा और उस नंबर से उसके चचेरे भाई ने ही विधायक को धमकी दी है. पुलिस ने निरंजन को 31 मई को उसे भागलपुर न्यायिक हिरासत में भेज दिया.