18.4 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

राष्ट्र नायकों को बख्श दें राजनीतिज्ञ

अभी कुछ दिन पहले ही हमने बाबासाहेब भीमराव आंबेडकर की जयंती मनायी है. एक खास तबके और राजनीतिक पार्टियों में जिस तरह उनकी जयंती मनाने की होड़ लगी थी, उसे देख कर मन में कई सवाल उठते हैं. एक ओर जहां राजनीतिक पार्टियां इस मसले पर सियासी रोटियां सेंकती नजर आती हैं, तो वहीं यह […]

अभी कुछ दिन पहले ही हमने बाबासाहेब भीमराव आंबेडकर की जयंती मनायी है. एक खास तबके और राजनीतिक पार्टियों में जिस तरह उनकी जयंती मनाने की होड़ लगी थी, उसे देख कर मन में कई सवाल उठते हैं.
एक ओर जहां राजनीतिक पार्टियां इस मसले पर सियासी रोटियां सेंकती नजर आती हैं, तो वहीं यह समझ से परे दिखायी देता है कि जिस व्यक्ति ने हमारे समाज को इतना कुछ दिया, वह किसी जाति, धर्म और वर्ग विशेष का कैसे हो सकता है?
इतना जरूर है कि उन्होंने दलितों और पिछड़ों के उत्थान के लिए काम किया और उन्हें बाद में लोगों ने दलितों का मसीहा बना दिया. दलितों का मसीहा बनाना जायज है, लेकिन उन्होंने जिस भाईचारे के आधार पर सम-समाज की परिकल्पना की थी, उसे लोगों ने दरकिनार कर दिया. सियासतदान कम से कम राष्ट्र नायकों को तो बख्श दें.
विवेकानंद विमल, माधोपुर, देवघर

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें