नयी दिल्ली: प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह को आड़े हाथों लेते हुए भाजपा नेता लालकृष्ण आडवाणी ने कहा कि उनके एक दशक का कार्यकाल समाप्त होने के करीब है और उन्होंने स्वतंत्र भारत की ‘सबसे भ्रष्ट’ सरकार का नेतृत्व किया.
आडवाणी ने कहा, ‘‘ डा. मनमोहन सिंह ने अपने कार्यकाल की शुरुआत स्वच्छ निजी छवि के साथ शुरु की. लेकिन जब उनका एक दशक लम्बा कार्यकाल समाप्त होने के करीब है, वह अपने पीछे स्वतंत्र भारत की सबसे भ्रष्ट सरकार का नेतृत्व करने का रिकार्ड छोड़ जायेंगे.’’ भाजपा के वरिष्ठ नेता ने अपने ताजा ब्लाग में कांग्रेस नीत संप्रग सरकार को आड़े हाथों लेते हुए आरोप लगाया कि उसने संसद को सबसे निचले स्तर तक पहुंचा दिया और इस संदर्भ में लोकसभा में 13 फरवरी को घटी घटना का जिक्र किया जिसमे तेलंगाना के विरोध में सदन में कांग्रेस के एक सदस्य ने कालीमिर्च का स्प्रे कर दिया था.
संप्रग पर गठबंधन के कुप्रबंधन का आरोप लगाते हुए आडवाणी ने कहा, ‘‘ इस दिन अधिकांश सदस्य यह देख तक हतप्रभ थे कि आधे दर्जन मंत्री सदन में प्रधानमंत्री और सोनियाजी की मौजूदगी को नजरंदाज कर रहे थे और अध्यक्ष के आसन के समीप आ गए और हंगामे में शामिल हुए.’’
आडवाणी ने कहा, ‘‘ अमर्यादित आचरण की सीमा उस समय पार कर गई जब कांग्रेस पार्टी के एक सांसद ने चारों ओर कालीमिर्च का स्प्रे करना शुरु कर दिया और सुषमा स्वराज समेत कई सांसदों के आंखों से आंसू निकल आए जबकि कई को खांसी आ गई और असहज स्थिति का सामना करना पड़ा.’’ कालीमिर्च छिड़कने की घटना को संप्रग 2 सरकार के कार्यकाल की सबसे निम्नतर स्थिति करार देते हुए भाजपा नेता ने इसकी तुलना संप्रग 1 सरकार के दौरान नोट के बदले वोट घोटाले से की और कहा कि इसमें मामले का खुलासा करने वाले भाजपा के तीन सांसदों को पुरस्कृत करने की बजाए जेल भेज दिया गया.आडवाणी ने कहा कि संसद की छवि एवं प्रतिष्ठा के लिए संप्रग 1 के समय के नोट के बदले वोट घोटाले से कम शर्मनाक संप्रग 2 के समय का यह अप्रिय दृश्य नहीं था.