कोलकाता : केंद्रीय रक्षा राज्य मंत्री जितेंद्र सिंह ने आज कहा कि नक्सलियों द्वारा युवाओं को अपने कैडर में शामिल करने से रोकने के लिए सैन्य बल माओवाद प्रभावित दूरदराज के इलाकों में विशेष भर्ती शिविरों का आयोजन करेंगे.
सिंह ने हालांकि नक्सलियों से निपटने में सैन्य बलों की किसी तरह की भूमिका से इंकार कर दिया. सिंह ने कहा, ‘‘नक्सलवाद से निपटने के लिए एक बहुआयामी नीति की जरुरत है. इसका निर्माण केंद्र और राज्य दोनों सरकारों को करना चाहिए. दूरदराज के ग्रामीण इलाकों एवं वहां रहने वाले आदिवासियों का समग्र विकास पहली प्राथमिकता होनी चाहिए.’’ सिंह यहां जीआरएसई में एक एकीकृत जहाज निर्माण संयंत्र का उद्घाटन करने के बाद एक संवाददाता सममेलन को संबांधित कर रहे थे.
उन्होंने कहा, ‘‘विकास उग्रवाद प्रभावित बड़े नगरों एवं शहरों के इर्दगिर्द ही केंद्रित रहा है. रक्षा मंत्रलय युवाओं के लिए दूरस्थ इलाकों में विशेष भर्ती शिविर लगाएगा. हम ध्यान रखेंगे कि ये शिविर सबसे अंदरुनी इलाकों में भी लगाए जाए.’’ यह पूछे जाने पर कि क्या माओवादी हिंसा से निपटने में सैन्य बलों की कोई भूमिका होगी, सिंह ने कहा, ‘‘इस तरह का कोई प्रस्ताव नहीं है और नक्सली समस्या से निपटना सैन्य बलों की जिम्मेदारी नहीं है. इसके लिए सीआरपीएफ और अन्य विशेष बल हैं.’’