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Tips For Insomnia: नींद नही आने की समस्या से परेशान हैं तो आजमाएं इन उपायों को, पलक झपकाते ही आयेगी नींद

Tips For Insomnia: क्या आप भी रात में बिस्तर पर जाने के बाद सोने के लिए संघर्ष करते हैं लेकिन नींद नही आती है? अगर नींद नही आने से परेशान हैं तो आजमाएं इन प्रभावी उपायों को और पाएं अनिद्रा से हमेशा के लिए छुटकारा.

Tips For Insomnia: अच्छी नींद शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य को बेहतर रखने में सहायक होती है. क्वालिटी नींद से इंसान खुश-निरोग रहता है और अपनी पूरी क्षमता के साथ दिनचर्या के कामों को कर पाता है, लेकिन अनिद्रा की समस्या आजकल की एक बेहद आम समस्या हो गई है.आज के व्यस्तता भरी और अनियमित लाइफस्टाइल ने अनिद्रा की समस्या में वृद्धि किया है. लोगों का देर रात तक भोजन करने, मोबाइल चलाने या पसंदीदा कार्यक्रम देखने की आदत अब शौक बन चुका है .अनिद्रा के कई और कारण हो सकते हैं जैसे सोने जागने की अनियमित दिनचर्या , मानसिक तनाव, चिंता, सोने से पहले कैफीन युक्त पदार्थ का सेवन या कोई अन्य बीमारी. नींद की इस अनियमितता के कारण स्वास्थ्य संबंधी कई गंभीर संकट उत्पन्न हो रहे हैं. नींद नही आने से चिंता, तनाव, डिप्रेशन, डिमोटिवेशन, चिड़चिड़ापन, थकान, आलस जैसी दिक्कतें तो होती ही है लेकिन इन सब के अलावे कुछ गंभीर बीमारियों जैसे हाई ब्लड प्रेशर , हार्ट रोग, मोटापा और डायबिटीज के होने की संभावना भी होती है. आईए जानते हैं अनिद्रा की समस्या दूर करने के कुछ कारगर उपायों के बारे में.

स्लीप मेडिटेशन

अगर आपको भी देर रात तक नींद नही आती है तो आपको स्लीप मेडिटेशन का सहारा लेना चाहिए. स्लीप मेडिटेशन में सोने से कुछ समय पूर्व शरीर को रिलैक्स रखकर और मन को बिल्कुल शांत रखने का अभ्यास किया जाता है. स्लीप मेडिटेशन का अभ्यास करने से तनाव और डिप्रेशन में भी राहत मिलता है. इस अभ्यास में एक गहरी सांस लेकर सांस को भीतर कुछ सेकेंड तक रखा जाता है. सांस लेने के दौरान अपना ध्यान सांसों पर केंद्रित रखना होता है और मन को शांत करके सुकूनदायक दृश्य का विजुलाइजेशन करना होता है. इस क्रिया का नियमित अभ्यास करने से नींद में सुधार देखा जा सकता है.

स्लीपिंग पैटर्न सही करें

अक्सर अनिद्रा की दिक्कत उन्हें होती है जिनका स्लीपिंग पैटर्न अनियमित हो चुका होता है. जिन लोगों के सोने और उठने का टाइम नियत नही होता है उनके साथ ऐसी समस्याएं होती हैं, इसलिए अपना स्लीपिंग पैटर्न सही करना होगा और स्लीपिंग पैटर्न सही करने के लिए सोने और उठने का एक नियत समय तय करना होगा . तय किए गए नियत समय पर सोने और जगने के कारण धीरे – धीरे नींद की क्वालिटी में सुधार आयेगी और अनिद्रा की समस्या दूर हो जायेगी.

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सोने से पहले उत्तेजक पदार्थ ना खाएं

उत्तेजक पदार्थ से हमारा मतलब ऐसे खाद्य या पेय पदार्थों से है जिसके सेवन से नींद आने में कठिनाई उत्पन्न हो सकती है. इस तरह के पदार्थ में चाय, कॉफी, कोल्ड ड्रिंक या अन्य कोई फूड्स हो सकता है. चाय और कॉफी में मौजूद कैफ़ीन -निकोटिन नींद में खलल डाल सकते हैं. वहीं अन्य पैकेज्ड या प्रोसेस्ड फूड्स भी स्लीप साइकल को बिगाड़ सकते हैं क्योंकि ऐसे फ्रूट्स में प्रिजर्वेटिव्स, एडिटिव्स और अन्य केमिकल्स का प्रयोग किया गया होता है जो नींद में बाधा बन सकते हैं.

नियमित व्यायाम करें

नींद को व्यवस्थित करने में नियमित व्यायाम महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है. अगर आप प्रतिदिन कुछ घंटे नियमित तौर पर एक्सरसाइज करते हैं तो नींद लाने के लिए रिस्पांसिबल हार्मोन जैसे मेलाटोनिन और सेरोटोनिन का उत्पादन संतुलित बना रहता है, जिससे नींद की क्वालिटी बेहतर बनी रहती है. तनाव अनिद्रा का एक कारण हो सकता है वही नियमित एक्सरसाइज तनाव को भी कम करता है, इसलिए नियमित तौर पर एक्सरसाइज करना अनिद्रा के शिकायत को दूर करने में बहुत मददगार साबित हो सकता है.

हल्का डिनर करें

रात में सोने से पहले भारी खाना ना खाएं. भारी खान से मतलब है ज्यादा और गंभीर भोजन ना करें. अगर आप सोने से पहले जरूरत से ज्यादा खाना खाते हैं तो इससे पाचन संबंधी दिक्कतें, गैस, एसिडिटी या अपच का सामना करना पड़ सकता है. खाना खाने के तुरंत बाद शरीर का तापमान भी बढ़ जाता है जो नींद में व्यवधान पैदा करता है. रात का भारी भोजन पचाने शरीर को ज्यादा समय लग सकता है, इस दौरान शरीर क्रियाशील रहता है जिससे नींद में बाधा उत्पन्न हो सकती है.

इलेक्ट्रॉनिक गैजेट से दूरी बनाएं

अक्सर देखा जाता है कि लोग सोने से पहले मोबाइल पर घंटों बातें करते हैं या सोशल मीडिया स्क्रोल करते रहते हैं. इस तरह की गतिविधि से अनिद्रा की समस्या उत्पन्न हो सकती है. मेलाटोनिन नींद के क्रम को नियंत्रित करने वाला एक हार्मोन होता है जो रात के अंधेरे में उत्पादित होता है. इसलिए सोने से पहले मोबाइल का प्रयोग करने से इससे निकलने वाली रोशनी मेलाटोनिन हार्मोन के उत्पादन में बाधा डालती है और नींद का चक्र प्रभावित होता है वहीं कुछ लोग मोबाइल को पास रखकर सोते हैं जो एक बड़ी गलती होती है.

Disclaimer: हमारी खबरें जनसामान्य के लिए हितकारी हैं. लेकिन दवा या किसी मेडिकल सलाह को डॉक्टर से परामर्श के बाद ही लें.

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