नयी दिल्ली : चालू वित्त वर्ष 2016-17 को समाप्त होने में अब कुछ ही दिन बाकी हैं. नये वित्त वर्ष के शुरू होते ही टैक्स के भुगतान की प्रक्रिया भी शुरू हो जायेगी. मार्च के आखिरी दिनों में आपको किसी प्रकार की कठिनाई का सामना न करना पड़े, इसके पहले ही आपको गड़बड़ियों से बचने के जरूरी उपाय कर लेना चाहिए. आप अगर जरूरी उपायों को पहले ही पूरा कर लेते हैं, तो आपकों बेकार की झंझटों में नहीं पड़ेगा और आप समय से टैक्स का भुगतान भी कर देंगे.
आयकर रिटर्न्स से संबंधित सभी दस्तावेजों को कर लें एकत्र
अगर आपने समय पर आयकर रिटर्न्स (आईटीआर) नहीं भरा है, तो 31 मार्च आपके लिए आखिरी तारीख है. इसलिए पहले आपको आयकर रिटर्न्स से संबंधित सभी कागजातों को पहले ही पूरा कर लेना चाहिए. इसके साथ ही एक वित्त वर्ष में आप पिछले दो वत्तीय वर्ष के लिए आईटी रिटर्न्स फाइल कर सकते हैं. इसलिए 31 मार्च तक आप वित्त वर्ष 2015-16 और वित्त वर्ष 16-17 के लिए आईटीआर दाखिल कर सकते हैं.
जुर्माने से बचने का करें उपाय
अगर आप वित्त वर्ष 2015-16 या 16-17 में से किसी का भी आईटीआर फाइल कर रहे हैं, तो यह सुनिश्चित कर लें कि आपने टैक्स की जो रकम जमा नहीं करायी है, उसे ब्याज सहित जमा कराएं. याद रखना जरूरी है कि इसमें ब्याज जोड़ना जरूरी है. आयकर कानून की धारा 234A के तहत आईटीआर दाखिल करने में देरी हो तो ब्याज देना पड़ता है. नियम के मुताबिक, आईटीआर फाइलिंग में हुई देरी पर आपको हर महीने 1 प्रतिशत की दर से ब्याज देना होगा. बकाया टैक्स पर ब्याज देने से बचने के लिए आपको 31 मार्च तक पूरा टैक्स पेमेंट कर देना होगा. हालांकि, आप पर अग्रिम टैक्स भी लागू हो रहा है और आपने किश्तों के मुताबिक यह टैक्स जमा नहीं कराया, तो धारा 234C के तहत ब्याज देना पड़ेगा.
नौकरी बदलने पर अपनी कंपनी से लें जानकारी
अगर आपने 1 अप्रैल से 31 मार्च 2016 के बीच नौकरी बदली है तो आपको मौजूदा कंपनी को पिछली कंपनी से हुई इनकम, प्रविडेंट फंड (पीएफ) में योगदान की राशि, सेक्शन 80C, लीव ट्रैवल अलाउंस (एलटीए) आदि की जानकारी देनी होगी. हालांकि, यह सब नयी नौकरी शुरू करते वक्त ही कर लेना चाहिए, लेकिन नहीं किया तो 31 मार्च तक तो जरूर निपटा लें. फॉर्म 12बी जमा कर पिछली कंपनी में वेतन से हुई आमदनी और टीडीएस की जानकारी मौजूदा एंप्लॉयर को दे दें. अगर आप टैक्स में छूट का कोई दावा करना चाहते हैं, तो फॉर्म 12बीबी भरकर मौजूदा कंपनी को दे दें.
टैक्स से छूट के लिए करें निवेश
वित्त वर्ष 2016-17 में आपने टैक्स बचाने के लिहाज से कोई निवेश किया है, तो आपको कम टैक्स भरना होगा. अगर निवेश नहीं किया है, तो 31 मार्च से पहले कर लें. चूंकि टैक्स बचाने वाले निवेश विकल्पों का चयन कोई आसान काम नहीं है. इसलिए अच्छा होगा कि इसके लिए 31 मार्च तक का इंतजार नहीं करें. आपको इससे संबंधित दस्तावेज कंपनी को देने होंगे. ज्यादातर कंपनियां दस्तावेज जमा करने की आखिरी तारीख बता देती हैं, जो अक्सर जनवरी से फरवरी के बीच होती है. अगर आपने इस दस्तावेज जमा करने का आखिरी तारीख के बाद निवेश किया है, तो आईटीआर फाइल करते वक्त इसकी जानकारी दे दें.
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