ढाका :प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बांग्लादेश के दो दिन के दौरे पर ढाका पहुंचे. प्रधानमंत्री ने बाग्लादेश दौरे की शुरुआत ढाका से 35 किलोमीटर दूर शहीद स्मारक से शहीदों को श्रद्धांजलि देकर की. इसके बाद प्रधानमंत्री बंग बंधु मेमोरियल पहुंचे. उन्होंने ट्वीटर पर बंग बंधु की कुछ तस्वीरें साझा की.
Pictures from the house where history was scripted by Bangabandhu. pic.twitter.com/Ki4ayJRq6K
— PMO India (@PMOIndia) June 6, 2015
शेख हसीना ने प्रोटोकॉल तोड़कर एयरपोर्ट पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का स्वागत किया. नरेंद्र मोदी को यहां गार्ड ऑफ ऑनर से सम्मानित किया गया. प्रधानमंत्री ने ट्वीट करके स्वागत के लिए धन्यवाद कहते हुए लिखा कि एक दोस्त के स्वागत के लिए प्रोटोकॉल तोड़ा गया .
Protocol broken to welcome a friend…PM Hasina welcomes PM @narendramodi to Dhaka & a historic visit begins. pic.twitter.com/VxRXsd2zgX
— PMO India (@PMOIndia) June 6, 2015
After tributes to the Martyrs, paying respects to Sheikh Mujibur Rahman at Bangabandhu Memorial Museum. pic.twitter.com/gBfnfZVsj8
— PMO India (@PMOIndia) June 6, 2015
यहां उन्होंने इससे पहले उन्होंने ट्वीट किया कि मैं बांग्लादेश के लिए रवाना हो रहा हूं. मुझे उम्मीद है कि मेरे इस यात्रा से दोनों देशों के संबंध मजबूत होंगे जिससे भारत को काफी फायदा होगा.बांग्लादेश की पहली यात्रा पर शनिवार को यहां पहुंच रहे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के भव्य स्वागत की तैयारियां की जा रही हैं. दोनों देशों को इस यात्रा से द्विपक्षीय संबंधों के नयी ऊंचाई तक पहुंचने तथा आर्थिक व व्यापार संबंधों की संभावना के दोहन करने की उम्मीद है.
Beginning the visit by paying homage to the martyrs of the Liberation War of 1971. pic.twitter.com/L6bJxLfKNg
— PMO India (@PMOIndia) June 6, 2015
मोदी की यात्रा के दौरान रेल, सड़क एवं जल संपर्क बढ़ाने, आर्थिक वार्ताओं को आगे ले जाने और सुरक्षा सहयोग को विस्तार देने पर मुख्य जोर दिया जायेगा. व्यापक जनसंपर्क सुनिश्चित करने के लिए संपर्क बढ़ाने सहित, दोनों पक्षों के बीच कई समझौतों पर हस्ताक्षर किये जाने की भी संभावना है. ममता शुक्रवार रात यहां पहुंचीं. वह कोलकाता-ढाका-अगरतला बस सेवा की शुरुआत के लिए समारोह में शामिल होंगी. भूमि सीमा समझौते पर हस्ताक्षर भी करेंगी.
अपनी बांग्लादेश यात्रा से पहले मोदी ने द्विपक्षीय संबंधों को मजबूत बनाने में अहम भूमिका निभाने के लिए हसीना की सराहना की. उन्होंने कहा ‘‘मुझे विश्वास है कि मेरी यात्रा दोनों देशों की जनता के लिए लाभकारी होगी और दक्षिण एशियाई पडोस के लिए भी बहुत अच्छी होगी.’’ बांग्लादेश और भारत 4096 किमी लंबी सीमा साझा करते हैं और इसका ज्यादातर हिस्सा पोरस है जो अरक्षित है. समझा जाता है कि दोनों ही देश सुरक्षा को बढाने, खास कर पूर्वोत्तर के उग्रवादी समूहों को पडोसी देश में शरण लेने से रोकने के उपाय तलाशने पर विचार करेंगे.
भूमि सीमा समझौते की अभिपुष्टि ढाका में मोदी के दौरे का बडा मुद्दा होगा. बीते माह के शुरु में संसद ने ऐतिहासिक संविधान संशोधन विधेयक पारित किया था जिसका मकसद बांग्लादेश के साथ 41 साल से चल रहे सीमा मुद्दे का हल करना है. यह विधेयक वर्ष 1947 के भारत.. बांग्लादेश सीमा समझौते को लागू करने की राह प्रशस्त करेगा जिसमें दोनों देशों के बीच 161 बस्तियों :एन्क्लेव: का आदान प्रदान शामिल है. विदेश सचिव एस जयशंकर ने कल मोदी की ढाका यात्रा को ‘‘ऐतिहासिक’’ करार दिया और भूमि सीमा समझौते को मंजूरी को एक बडी उपलब्धि बताया था.
इस दौरे में रेल, सडक और जल संपर्क को बढाना और आर्थिक भागीदारी को बढावा देना प्राथमिकता होगी और इन क्षेत्रों में कई समझौते किए जाने की उम्मीद है. इसके अलावा बांग्लादेश को डीजल की आपूर्ति करने के लिए एक समझौते को भी अंतिम रुप दिया जाएगा और उस पर हस्ताक्षर किए जाएंगे.
बांग्लादेश भारत के लिए एक महत्वपूर्ण व्यापार सहयोगी है. 2012-2013 में दोतरफा कारोबार 5.34 अरब डॉलर का था जिसमें भारत ने बांग्लादेश को 4.776 अरब डॉलर का निर्यात किया और वहां से 5.64 लाख डॉलर का आयात हुआ. मोदी, पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और हसीना ढाका के रास्ते कोलकाता और अगरतला के बीच तथा ढाका-शिलांग-गुवाहाटी बस सेवा की शुरुआत करेंगे. दोनों देश रेल संपर्क मजबूत करना चाहते हैं खासकर रेलवे लिंक जो 1965 के पहले तक वजूद में था. वे भारत से छोटे जहाजों के बांग्लादेश में विभिन्न बंदरगाहों तक आने जाने का रास्ता खोलने के लिए एक तटीय जहाजरानी समझौता भी करेंगे.
भारत बांग्लादेश में बंदरगाह बनाने के लिए भारतीय कंपनियों की भागीदारी के लिए बातचीत करेगा. मोदी और हसीना के बीच वार्ता में बांग्लादेश, भूटान, भारत और नेपाल (बीबीआईएन) मोटर वाहन समझौते का मुद्दा भी उठने की संभावना है. भारत का मानना है कि बांग्लादेश के साथ संपर्क बढाने से दक्षिण पूर्व एशिया के साथ पूर्वोत्तर क्षेत्र के जुडाव में मदद मिलेगी.
कारोबार के मोर्चे पर बांग्लादेश में भारतीय निवेश को प्रोत्साहित करने की कोशिश होगी और उस देश में भारतीय कंपनियों द्वारा विशेष आर्थिक क्षेत्र की स्थापना के लिए एक सहमति पत्र :एमओयू: पर दस्तखत हो सकते हैं. भारत पहले ही घोषणा कर चुका है कि इस यात्रा के दौरान बांग्लादेश के साथ लंबित तीस्ता जल बंटवारा समझौते पर हस्ताक्षर नहीं होगा. हालांकि जलमार्गों और अन्य नदियों के जल के बंटवारे संबंधी मुद्दे पर वार्ता हो सकती है.सितंबर 2011 में तत्कालीन प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह की बांग्लादेश यात्रा के दौरान तीस्ता समझौता किया जाना था लेकिन बनर्जी के एतराज के बाद अंतिम समय में इसे टाल दिया गया. बनर्जी उस वक्त प्रधानमंत्री के प्रतिनिधिमंडल का हिस्सा नहीं बनीं थीं.
तीस्ता जल बांग्लादेश के लिए महत्वपूर्ण है खासकर दिसंबर से मार्च की अवधि के दौरान जब जल प्रवाह अस्थायी रुप से 5000 क्यूसेक से घटकर मात्र 1,000 क्यूसेक रह जाता है. ढाका में प्रधानमंत्री राष्ट्रपति अब्दुल हामिद और विपक्ष के नेता रौशन इरशाद तथा पूर्व प्रधानमंत्री खालिदा जिया सहित नामी गिरामी राजनीतिक शख्सियतों से भी मुलाकात करेंगे.मोदी के आगमन पर ढाका में उनका रस्मी स्वागत होगा जिसके बाद वह राष्ट्रीय शहीद स्मारक और बंगबंधु स्मारक संग्रहालय जाएंगे. वह श्री श्री ढाकेश्वरी मंदिर और रामकृष्ण मिशन के अलावा भारतीय दूतावास के नये भवन में भी जाएंगे.