वाशिंगटन : अमेरिकी सीनेट ने समग्र आव्रजन सुधार विधेयक पारित कर दिया है. इसके कानून बनने पर 24 लाख भारतीयों समेत कुल 1.1 करोड़ अवैध प्रवासियों के लिए अमेरिकी नागरिकता का रास्ता खुल जाएगा.
ओबामा प्रशासन का यह विधेयक कल 32 के मुकाबले 88 मतों से पारित हो गया. विधेयक को कानून बनाने के लिए राष्ट्रपति बराक ओबामा के पास भेजने से पहले अभी इस पर प्रतिनिधि सभा में विचार होगा.
हालांकि इस विधेयक में एच-1बी वीजा से जुड़े कुछ कड़े प्रावधान भी हैं, जो अमेरिका में भारतीय कंपनियों को बुरी तरह प्रभावित करेंगे.
ओबामा ने एक बयान में कहा, ‘‘आज एक मजबूत द्विदलीय मतदान के साथ अमेरिकी सीनेट अमेरिकी जनता और सभी को चरमराई हुई आव्रजन व्यवस्था को ठीक करने के एक कदम नजदीक ले आई है.’’
ओबामा ने कहा, ‘‘यह अमेरिका में अवैध रुप से रह रहे 1.1 करोड़ लोगों के लिए नागरिकता हासिल करने का रास्ता खोलेगा। एक ऐसा रास्ता जिसमें पृष्ठभूमि की जांच, अंग्रेजी सीखने, कर भुगतान और जुर्माना तथा फिर कानूनी रुप से यहां दाखिल होने के लिए अन्य लोगों की तरह नियमों के तहत इंतजार करना शामिल है.’’ उन्होंने कहा, ‘‘यह कानून आव्रजन व्यवस्था को आधुनिक बनाएगा, ताकि यह एक बार फिर राष्ट्र के तौर पर हमारे मूल्यों को दर्शा सके और समय की जरुरतों को समझ सके। यह हमारे घाटों को कम करेगा और अर्थव्यवस्था के विकास में मददगार होगा।’’ हालांकि प्रतिनिधि सभा के अध्यक्ष जॉन बोएनर ने कल कहा था कि आव्रजन से जुड़े किसी भी विधेयक को आगे बढ़ने के लिए सभा का बहुमत हासिल करना जरुरी है.
उन्होंने कहा, ‘‘किसी भी विधेयक के इस सदन से गुजरने के लिए यहां के सदस्यों का बहुमत हासिल करना जरुरी है.’’ बोएनर की इन टिप्पणियों से इस बारे में संदेह पैदा हो गया है कि यह विधेयक ओबामा तक जल्द पहुंच भी सकेगा या नहीं.