उन्होंने कहा कि केन्द्र सरकार की श्रमिक तथा श्रम विरोधी नीतियों के खिलाफ सारे ट्रेड यूनियन संगठन एकजुट हैं और दो सितंबर को पूरे देश में हड़ताल का आह्वान किया गया है. पूरे देश के साथ ही उत्तर बंगाल में भी बंद को सफल बनाने के लिए कई कार्यक्रम आयोजित किये जा रहे हैं. बंद को लेकर जहां 13 सूत्री मांगें सरकार के सामने रखी गई हैं, वहीं उत्तर बंगाल के चाय बागानों को लेकर दो नयी मांगें उसके साथ जोड़ दी गई है. इसमें बंद चाय बागानों को खोलने तथा चाय श्रमिकों की समस्या दूर करने एवं उनकी न्यूनतम मजदूरी निर्धारित करने की मांग भी शामिल है. उन्होंने कहा कि इन मांगों पर दबाव बनाने के लिए नौ अगस्त से 19 अगस्त तक सिलीगुड़ी सहित उत्तर बंगाल के सभी चाय बागानों में धरना-प्रदर्शन किया जायेगा.
इसके अलावा 28 तारीख को एक कन्वेशन का भी आयोजन किया गया है, जिसमें सीटू नेता श्यामल चक्रवर्ती शामिल होंगे. उन्होंने पश्चिम बंगाल में बंद कल-कारखानों को खोलने तथा हल्दिया बंदरगाह की समस्या को दूर करने की मांग राज्य सरकार से की.
संवाददाताओं को संबोधित करते हुए उन्होंने केन्द्र सरकार पर जमकर हमला बोला. उन्होंने कहा कि श्रम कानून में संशोधन के नाम पर श्रमिकों का शोषण किया जा रहा है. केन्द्र सरकार सभी सरकारी कंपनियों का निजीकरण कर रही है. बीमा तथा रक्षा क्षेत्र में भी विदेशी निवेश को मंजूरी दी जा रही है. इसका सभी ट्रेड यूनियन संगठन विरोध कर रहे हैं. उन्होंने महंगाई को लेकर भी केन्द्र की नरेन्द्र मोदी सरकार पर जमकर हमला बोला. श्री पाठक ने कहा कि प्रधानमंत्री बनने से पहले नरेन्द्र मोदी महंगाई कम करने के बड़े-बड़े दावे कर रहे थे, जबकि आज महंगाई पूरी तरह से बेकाबू है. लगातार बढ़ती महंगाई की वजह से आम लोग काफी परेशान हैं. उन्होंने दावा करते हुए कहा कि दो सितंबर का भारत बंद पूरी तरह से सफल होगा.