10 नवंबर को कोलकाता के रानी रासमणि रोड में एक सभा को संबोधित करते हुए मुकुल राय ने कहा था कि विश्व बांग्ला सरकारी लोगो नहीं, बल्कि अभिषेक बनर्जी की कंपनी का लोगो है. इसके कुछ ही देर बाद राज्य सरकार की ओर से यह बता दिया गया की विश्व बांग्ला सरकारी ब्रांड है. किसी की व्यक्तिगत संपत्ति नहीं. इसके बाद 13 नवंबर को मुकुल राय को अभिषेक बनर्जी ने कानूनी नोटिस भेजा. नोटिस में मुकुल राय को 48 घंटे के अंदर बिना शर्त माफी नहीं मांगने पर मानहानि का मामला करने की धमकी दी गयी.
इसके बाद 15 नवंबर को मुकुल राय के अधिवक्ता ने नोटिस भेजाा, जिसमें सात दिनों के अंदर नोटिस वापस लेने की बात कही गयी. उस नोटिस के बाद 21 नवंबर को अलीपुरद्वार अदालत में अभिषेक बनर्जी ने मुकुल राय के खिलाफ मानहानि का मामला दर्ज करवा दिया. उसी की सुनवाई में न्यायाधीश ने 14 दिसंबर तक अभिषेक बनर्जी के संबंध में मुकुल राय को कोई टिप्पणी नहीं करने का निर्देश दिया.
इसके बाद 25 नवंबर को भाजपा के राज्य कार्यालय में मुकुल राय ने पत्रकार सम्मेलन किया. अभिषेक बनर्जी ने आरोप लगाते हुए कहा कि पत्रकार सम्मेलन में मुकुल राय ने उन पर गलत टिप्पणी की है. इसी आरोप को लेकर वह फिर अदालत पहुंच गये. इस पर अदालत ने मुकुल राय को नोटिस जारी किया.