बुद्ध सर्किट की इसमहत्वपूर्ण फोर लेन सड़क निर्माण पर लगभग 1400 करोड़ खर्च अनुमानित है. सड़क निर्माण का जिम्मा गायत्री कंस्ट्रक्शन को मिला है.सड़क निर्माण का काम तीन साल में पूरा किये जाने का लक्ष्य निर्धारित है. फोर लेन होने के बाद यह सड़क विश्वस्तरीय हो जायेगा.
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पटना : एनएच 82 के निर्माण में आड़े आ रही जमीन अधिग्रहण की समस्या
बुद्ध सर्किट पथ : मुख्य सचिव ने भी इस महत्वपूर्ण सड़क निर्माण में तेजी लाने को कहा पटना : राज्य में बुद्ध सर्किट की तीन जिले नालंदा, नवादा व गया में बननेवाली महत्वपूर्ण फोर लेन सड़क एनएच 82 के निर्माण में जमीन अधिग्रहण की समस्या से काम पर असर दिख रहा है. मुआवजा वितरण की […]
बुद्ध सर्किट पथ : मुख्य सचिव ने भी इस महत्वपूर्ण सड़क निर्माण में तेजी लाने को कहा
पटना : राज्य में बुद्ध सर्किट की तीन जिले नालंदा, नवादा व गया में बननेवाली महत्वपूर्ण फोर लेन सड़क एनएच 82 के निर्माण में जमीन अधिग्रहण की समस्या से काम पर असर दिख रहा है. मुआवजा वितरण की धीमी गति से जमीन अधिग्रहण के काम में समस्या हो रही है. जमीन अधिग्रहण के काम में तेजी लाने के लिए अधिकारियों को निर्देश दिये गये हैं. मुख्य सचिव ने भी इस महत्वपूर्ण सड़क निर्माण में तेजी लाने को कहा है. इस संबंध में मुख्य सचिव ने तीनों जिले के अधिकारियों से वीडियो काॅन्फ्रेंसिंग कर जानकारी ले चुके हैं.
राजस्व व भूमि सुधार विभाग ने जमीन अधिग्रहण के काम की समीक्षा की है. नवादा, नालंदा व गया को जोड़ने वाली इस सड़क को बुद्ध सर्किट पथ कहा जाता है. गया से हिसुआ, राजगीर, नालंदा होते हुए यह सड़क बिहारशरीफ बाइपास में एनएच 31 से जुड़ती है. 93 किलोमीटर इस सड़क के फोरलेन होने से यात्रियों के साथ ही बुद्ध व जैन पर्यटकों को फायदा होगा. इससे पर्यटन क्षेत्र को भी बढ़ावा मिलेगा.
मुआवजा वितरण की गति धीमी
फोर लेन सड़क निर्माण के लिए तीन जिलों नालंदा, नवादा व गया में जमीन अधिग्रहण होना है. गया जिले में 42 राजस्व गांव में लगभग 69 हेक्टेयर रैयती जमीन अधिग्रहण होना है. इसके साथ ही लगभग 21 हेक्टेयर जमीन सरकारी जमीन भी लेना है. जमीन अधिग्रहण के लिए 243 करोड़ में लगभग 95 करोड़ ही वितरण हुआ है.
लगभग 10 हेक्टेयर सरकारी जमीन हस्तांतरण हो चुका है. नवादा जिले में 21 राजस्व गांव में लगभग 140 एकड़ रैयती जमीन की आवश्यकता है. इसके अलावा लगभग 26 एकड़ सरकारी जमीन शामिल है. रैयती जमीन के लिए लगभग 98 करोड़ के विरुद्ध लगभग 35 करोड़ ही वितरण हुआ है.
लगभग 10 एकड़ सरकारी जमीन सड़क निर्माण के लिए मिल चुकी है. नालंदा जिले में 21 राजस्व गांव में लगभग 87 एकड़ रैयती जमीन अधिग्रहण होना है.
इस परियोजना में लगभग 13 एकड़ सरकारी जमीन शामिल है. रैयती जमीन अधिग्रहण के लिए स्वीकृत 138 करोड़ में लगभग 90 करोड़ मुआवजा किसानों के बीच वितरित हुआ है. लगभग ढाई एकड़ सरकारी जमीन सड़क निर्माण के लिए मिली है.
निर्माण पर 1400 करोड़ होंगे खर्च
बुद्ध सर्किट की इसमहत्वपूर्ण फोर लेन सड़क निर्माण पर लगभग 1400 करोड़ खर्च अनुमानित है. सड़क निर्माण का जिम्मा गायत्री कंस्ट्रक्शन को मिला है.सड़क निर्माण का काम तीन साल में पूरा किये जाने का लक्ष्य निर्धारित है. फोर लेन होने के बाद यह सड़क विश्वस्तरीय हो जायेगा.
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