साहिबगंज : राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री व बरहेट विधायक हेमंत सोरेन ने प्रमंडलीय बैठक के बाद नगर भवन में प्रेसवार्ता आयोजित कर बताया कि राज्य की सरकार आदिवासियों के लिए हितकर नहीं है. स्थानीय नीति, नियोजन नीति लागू किया है जो गलत है. यह खासकर मूलवासियों के हित में नहीं है जो परदादा के समय से झारखंड राज्य का स्थायी निवासी है और राज्य को अलग करने में अपनी अहम भूमिका निभायी है. उसे भी बाहरी लोगों के साथ एक ही तराजू पर तौल दिया है.
इसलिए ऐसी नीतियों का हम खुलकर विरोध करते हैं. ऐसे सभी मामले को लेकर विषयों की एक टीम 21 दिसंबर को दिल्ली जाकर राष्ट्रपति से मिल कर अपनी मांगों को रखेंगे. उन्होंने कहा कि पहले भी जरूरत के हिसाब से आदिवासियों की हित को देखते हुये सीएनटी व एसपीटी एक्ट में संशोधन हुआ लेकिन यह सरकार व्यवसायियों को लाभ दिलाने के लिये ऐसा संशोधन किया कि
यहां की जमीन का चरित्र ही बदल दिया. इस अवसर पर राजमहल लोकसभा सांसद विजय हांसदा, प्रदेश सचिव पंकज मिश्रा, जिप उपाध्यक्ष सुनील यादव, नुरूल इस्लाम, एमएस बेचन, प्रेमलाल मंडल मंटा मंडल, अब्दुल जब्बार अंसारी सहित कई सदस्य उपस्थित थे.