– लोगों ने 1317 करोड़ के जेवर व 400 करोड़ के फोन खरीदे
रांची : झारखंड के लोगों ने वित्तीय वर्ष 2011-12 के मुकाबले वित्तीय वर्ष 2012-13 में सोना-चांदी के जेवर और मोबाइल फोन की खरीदारी करने पर दोगुना खर्च किया. वहीं इसके मुकाबले शराब पीने में लोगों ने कंजूसी की.
सरकारी आंकड़ों पर गौर करें, तो पता चलता है कि सरकार को जेवर और मोबाइल पर मिलनेवाले टैक्स में 101.32 प्रतिशत की वृद्धि हुई. दूसरी ओर, शराब के मामले में 19.95 प्रतिशत टैक्स प्राप्त करने की वृद्धि पर ही संतोष करना पड़ा.
– क्या कहते हैं सरकारी आंकड़े
सोना-चांदी के जेवर
सरकारी आंकड़े बताते हैं कि वित्तीय वर्ष 2011-12 में झारखंड के लोगों ने 654.56 करोड़ रुपये के सोना-चांदी के जेवर खरीदे थे. इससे सरकार को टैक्स के रूप में 6.54 करोड़ रुपये मिले थे. जबकि वित्तीय वर्ष 2012-13 में लोगों ने 1317.73 करोड़ रुपये के जेवर खरीदे. इससे सरकार को टैक्स के रूप में 13.17 करोड़ रुपये मिले. यहां बता दें कि सोना-चांदी के जेवर पर राज्य में एक प्रतिशत की दर से टैक्स की वसूली होती है.
मोबाइल फोन
मोबाइल फोन खरीदने के मामले में भी यही स्थिति कायम रही. वित्तीय वर्ष 2011-12 में झारखंड के लोगों ने मोबाइल फोन खरीदने पर 198.06 करोड़ रुपये खर्च किये. इससे सरकार को टैक्स के रूप में 9.90 करोड़ मिले, जबकि वित्तीय वर्ष 2012-13 में 400.06 करोड़ रुपये के मोबाइल फोन खरीदे. इससे सरकार को 20 करोड़ टैक्स मिला. बता दें कि मोबाइल फोन पर पांच प्रतिशत की दर से टैक्स की वसूली की जाती है.
शराब पर अपेक्षाकृत कम खर्च
जेवर और मोबाइल फोन पर किये गये खर्च के मुकाबले लोगों ने शराब पीने पर कम पैसे खर्च किये. वर्ष 2011-12 में सरकार को शराब से 192.12 करोड़ रुपये बतौर टैक्स मिले. वर्ष 2011-12 में शराब पर 35 प्रतिशत की दर से टैक्स लगाया गया था. यानी लोगों ने शराब पर 548.94 करोड़ रुपये खर्च किये थे.
वहीं वर्ष 2012-13 में सरकार ने शराब पर टैक्स 35 प्रतिशत से बढ़ा कर 50 प्रतिशत कर दिया. इससे वर्ष 2012-13 में शराब से 230.45 करोड़ रुपये टैक्स मिले. यानी लोगों ने 2012-13 में 460.90 करोड़ रुपये की ही शराब पी. इससे टैक्स में 19.95 प्रतिशत की वृद्धि हुई.