अधिग्रहित भूमि का उचित मुआवजा व अतिरिक्त भूमि वापस करने की मांग
अनगड़ा : बोरिंग रोड के लिए अधिग्रहित भूमि का उचित मुआवजा व अतिरिक्त अधिग्रहित भूमि वापस करने की मांग को लेकर तुरूप गांव के ग्रामीण निर्माणाधीन रिंग रोड पर टेंट लगाकर रविवार से धरना पर बैठे हैं. इस वजह से रिंग रोड का काम बाधित हो गया है. ग्रामीणों का आरोप है कि मुआवजा भुगतान में असमानता बरती गयी है. 2005 से 2011 तक अधिग्रहित भूमि का नक्शा बदलकर दूसरे रूट पर निर्माण कराया जा रहा है.
जबकि पहले से जो जमीन अधिग्रहित की गयी है, उसे वापस भी नहीं किया जा रहा है. ग्रामीण जमीन वापसी का नोटिस जारी करने के बाद ही निर्माण कार्य प्रारंभ करने की मांग कर रहे हैं. ग्रामीण आतिश महतो ने बताया कि अतिरिक्त अधिग्रहित भूमि रैयतों को वापस करने के संबंध में पथ निर्माण विभाग व एनएचएआइ ने पूर्व में पत्राचार किया था, लेकिन भू- अर्जन विभाग इस पर कुंडली मारकर बैठ गया है. जिससे यह स्थिति उत्पन्न हुई है. धरना पर बैठने वालों में पूर्व मुखिया दिनेश्वर मुंडा सहित दर्जनों लोग शामिल हैं.
जमीन वापसी की मांग पर अड़े हैं : धरना की सूचना पर सिल्ली डीएसपी चंद्रशेखर आजाद व थानेदार शंकर प्रसाद मौके पर पहुंचे. ग्रामीणों को समझाया. लेकिन ग्रामीण अपनी मांग पर अड़े रहे. कहा, पहले जमीन वापसी हो, इसके बाद ही कोई बात करेंगे. धरना स्थल पर पूर्व सांसद रामटहल चौधरी भी पहुंचे. ग्रामीणों की मांग के संबंध में फोन पर उपायुक्त से बात की.
भाजपा मंडल अध्यक्ष व विधायक प्रतिनिधि भी ग्रामीणों से मिले. उनकी बातें विधायक रामकुमार पाहन तक पहुंचायी. उल्लेखनीय है कि उक्त मांगों को लेकर तुरूप के ग्रामीणों ने विगत 11 नवंबर को रिंग रोड का निरीक्षण करने आये एनएचएआइ के अधिकारियों का घेराव किया था.