रांचीः झारखंड-वनांचल आंदोलनकारी चिह्नीकरण आयोग की अंतिम रिपोर्ट (सूची) दो या तीन जून को गृह विभाग को सौंपी जायेगी. आयोग को राज्य भर से 35217 आवेदन मिले थे, जिसमें से 3212 आंदोलनकारियों को चिह्न्ति किया गया. जिलावार बनी यह सूची संपुष्ट व असंपुष्ट दो वर्ग में तैयार की गयी है. संपुष्ट सूची उन आंदोलनकारियों की है, जिनके आवेदन व कागजात संबंधित जिले के पुलिस अधीक्षक (एसपी) के भेजे कागजात से मिला कर सही पाये गये हैं.
आंदोलन के दौरान दर्ज मामले से संबंधित विभिन्न जिला न्यायालयों द्वारा निर्गत सर्टिफाइड (प्रमाणित) कॉपी के आधार पर भी नामों की सूची संपुष्ट की गयी है. सूची संपुष्ट करने या फिर किसी नाम को आंदोलनकारी मान लेने के लिए एक और तरीका अपनाया गया है. झारखंड के प्रतिष्ठित लोगों की लिखी प्रामाणिक पुस्तकों में जिन नामों का जिक्र है, उनकी प्राथमिक जांच के बाद करीब आठ सौ आंदोलनकारियों को भी संपुष्ट सूची में शामिल कर लिया गया है.
जिन लेखकों की पुस्तकों का उल्लेख आयोग ने किया है, उनमें शैलेंद्र महतो, बलबीर दत्त, अनुज सिन्हा, इम्तियाज अहमद व मो इलियास शामिल हैं. वहीं जिन आवेदनों का मिलान उक्त सभी तरीकों (या कागजात) के आधार पर नहीं हो सका, भले ही उन्होंने थाना स्तर से उपलब्ध कागजात अपने आवेदन में संलगA किया है, उन्हें असंपुष्ट श्रेणी में रखा गया है.