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सदर अस्पताल में मानवता शर्मसार

कोडरमा बाजार : प्रसव के लिए आयी महिला के परिजनों को बाजार से सिजेरियन किट लाने को कहा. पैसा नहीं होने की बात बताने पर कहा गया, रांची से आ रही है किट. छह से सात घंटे बाद होगा ऑपरेशन. अस्पताल में ऑपरेशन किट नहीं रहने के कारण ऑपरेशन टला. सदर अस्पताल की व्यवस्था लाख […]

कोडरमा बाजार : प्रसव के लिए आयी महिला के परिजनों को बाजार से सिजेरियन किट लाने को कहा. पैसा नहीं होने की बात बताने पर कहा गया, रांची से आ रही है किट. छह से सात घंटे बाद होगा ऑपरेशन. अस्पताल में ऑपरेशन किट नहीं रहने के कारण ऑपरेशन टला. सदर अस्पताल की व्यवस्था लाख प्रयास के बावजूद सुधरती नजर नहीं आ रही है. ताजा मामला मानवता को शर्मसार करनेवाली है.

शुक्रवार को प्रसव कराने आयी महिला के परिजनों को जिस तरह का जवाब अस्पताल में दिया गया, वह मानवता को न केवल शर्मसार करती प्रतीत होती है बल्कि अस्पताल प्रबंधन के गैर जिम्मेदाराना रवैया को भी साबित करता है. जानकारी के मुताबिक, शुक्रवार सुबह को जलवाबाद निवासी मो अमजद की पत्नी तब्बसुम को प्रसव दर्द शुरू होने के बाद उसके परिजनों ने सदर अस्पताल में भरती कराया. दोपहर तक स्लाइन चढ़ी और महिला के परिजनों को बताया गया कि ऑपरेशन (सिजेरियन) से प्रसव होगा.

आनन -फानन में महिला को सिजेरियन के लिए वार्ड से ओपीडी लाया गया. यहां ऑपरेशन करने से इंकार करते हुए कहा गया कि ऑपरेशन किट अस्पताल में नहीं है. बाजार से खरीद लीजिये. 2000 से 3000 रुपये में किट आ जायेगी. परिजनों ने जब अपनी गरीबी की दुहाई दी, तो उन्हें यह कह कर पल्ला झाड़ लिया गया कि छह से सात घंटे इंतजार कीजिये. रांची से किट आ रहा है. रात दस बजे तक किट पहुंचने की उम्मीद है.

पैसा रहता, तो सरकारी अस्पताल क्यों आते : परिजन

महिला की मां मोफिदा खातून और पिता मो आमीन ने बताया कि गुरुवार को अपनी बेटी को अस्पताल लाये थे. कहा गया कि कल लाना. रात को दर्द शुरू होने के कारण शुक्रवार सुबह को दुबारा अस्पताल लाये. मरीज की स्थिति को देखते हुए उसे भरती कर इलाज भी शुरू हुआ.

दोपहर को डॉ ने कहा कि सिजेरियन से बच्चा (डिलिवरी) होगा, तब हम लोग उसे ओपीडी ऑपरेशन के लिए ले गये. यहां किट नहीं होने की बात कह कर आपरेशन करने से इंकार कर दिया गया. परिजनों ने बताया कि हम लोग गरीब हैं. मेरा दामाद मजदूरी करता है. यदि पैसा रहता, तो सरकारी अस्पताल क्यों आते. डॉक्टर का कहना है कि ज्यादा जरूरी है तो किट बाजार से खरीद लो ऑपरेशन कर देंगे. किट के लिए इतना पैसा कहां से लायें.

एक दूसरे पर फेंक रहे हैं जिम्मेवारी

सदर अस्पताल के बड़ा बाबू अजित कुमार ने इस संबंध में कहा कि यदि किट खत्म हो गया था, तो इसकी जानकारी स्टोर कीपर को समय पर देनी चाहिए थी. स्टोर कीपर विपुल कुमार ने कहा कि डीएस के अवकाश पर रहने से डीपीएम को इसकी जानकारी तीन दिन पहले दी गयी थी. उन्होंने बताया कि डीपीएम ही ऑपरेशन किट मंगाते हैं. इधर, डीपीएम समरेश सिंह से पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि आज किट लाने के लिए रांची भेजे हैं. रात दस बजे तक किट आने के बाद मरीज का अॉपरेशन किया जायेगा. उन्होंने बताया कि मरीज की स्थिति नियंत्रण में है. कल सुबह भी ऑपरेशन किया जा सकता है.

इमरजेंसी में बाजार से दवा खरीदने का है प्रावधान

इधर, मिली जानकारी के मुताबिकइमरजेंसी में सदर अस्पताल प्रबंधन मरीज के इलाज के लिए बाजार से दवा खरीद सकता है. वहीं, बताया जाता है कि प्रभारी डीएस डॉ रंजन 12 अप्रैल से 25 अप्रैल तक अवकाश में हैं.

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