वरीय संवाददाता, धनबाद,
बैंकमोड़ थाना क्षेत्र के एचडीएफसी बैंक और आइसीआइसीआई बैंक के पास पुलिस ने सघन जांच अभियान चलाया. इस दौरान बैंक में रुपये जमा करने वाले और निकालने वाले पांच लोगों को पकड़ा गया. उनके पास कुल 40 लाख रुपये मिले. पूछताछ के लिए सभी को थाना ले आया गया. राशि जब्त कर आइटी को सूचना दे दी गयी. इस घटना के बाद व्यवसायी वर्ग ने थाना में हो हंगामा शुरू कर दिया. कहा : अब धंधा का पैसा बैंक में जमा करना और निकालना मुश्किल हो गया है. चेंबर के कई प्रतिनिधियों ने इस मामले में विरोध किया. बताया जाता है कि टीवीएस शोरूम कर्मी से लगभग तीन लाख, मछली व्यवसायी से 18 लाख, पेट्रोल पंप के कर्मी से लगभग पांच लाख, हार्डकोक भट्ठा के कर्मी से पांच लाख, आटा मिल संचालक से लगभग साढ़े आठ लाख रुपये मिले. आइटी की टीम मौके पर पहुंची और जांच में जुट गयी. पाया कि कई लोग पैसे जमा करने और कई लोग पैसा की निकासी कर जा रहे थे. जांच के बाद पुलिस ने पैसे छोड़ दिये.
व्यवसायियों ने कहा : बेवजह परेशान कर रही पुलिस :
इस मामले में व्यवसायियों का कहना है कि पुलिस उन्हें बेवजह परेशान कर रही है. पंप मालिक संजय सिंह आखिर डेली सेल का पैसा वे कहां जमा करेंगे. पैसा बैंक खाते में जमा नहीं करेंगे, तो पेट्रोल पंप पर तेल कैसे आयेगा. यही स्थिति रही पंप बंद करना पड़ेगा. बैंक में पैसा जमा करने के लिए स्टाफ को भेजा गया था, तभी बैंक से थोड़ी दूरी पर ही वह किसी कारणवश रुका, तो पुलिस ने उसे पकड़ लिया. उनके पास सारे दस्तावेज है, आइटी फाइल है और पैसे किस खाते में समय समय पर जमा होते रहे हैं, इसकी पूरी डिटेल दिखायी जा रही है.
चेंबर अध्यक्ष ने जताया विरोध :
बैंक मोड़ चेंबर ऑफ कॉमर्स के अध्यक्ष प्रमोद गोयल ने बताया कि चुनाव के नाम पर व्यवसायियों को प्रताड़ित किया जा रहा है. पेट्रोल पंप, गल्ला व्यापारी, मछली से लेकर सोना चांदी में रोज लाखों का व्यापार होता है. यदि 50 हजार रुपये की सीमा रहेगी तो व्यापार कैसे किया जायेगा. बेहतर होगा कि चुनाव आयोग को करोना काल की तरह चुनाव तक सभी बड़े व्यापार को बंद करने का आदेश भी पारित कर देना चाहिए.