रांची: चारा घोटाले के एक मामले में सजायाफ्ता बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जगन्नाथ मिश्र सोमवार को झारखंड उच्च न्यायालय से नियमित जमानत मिलने के बाद आज रिहा हो गये.बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री को आज विशेष सीबीआई अदालत ने दस -दस हजार रुपये के दो निजी मुचलकों पर न्यायिक हिरासत से रिहा करने के आदेश दिये जिसके बाद उन्हें शाम को रिहा कर दिया गया.
मिश्र के अधिवक्ता पीडी शर्मा ने बताया कि सोमवार को झारखंड उच्च न्यायालय से मिश्र को इस मामले में नियमित जमानत मिली थी और सीबीआई की विशेष अदालत में उच्च न्यायालय का आदेश पहुंचने के बाद सीबीआई की विशेष अदालत ने उन्हें दस दस हजार रुपये के दो निजी मुचलकों पर रिहा करने के आदेश दिये.
पिछले माह की 19 तारीख को उच्च न्यायालय के आदेश पर मिश्र ने विशेष सीबीआई अदालत के समक्ष आत्मसमर्पण किया था जिसने उन्हें न्यायिक हिरासत में बिरसा मुंडा जेल भेज दिया था। अनेक गंभीर बीमारियों से ग्रस्त मिश्र को जेल में आवश्यक चिकित्सा सुविध न मिल पाने के चलते उन्हें यहां रिम्स अस्पताल में भर्ती कराया गया था जहां न्यायिक हिरासत में उनका इलाज चल रहा था। मिश्र को आज शाम रिम्स अस्पताल में न्यायिक हिरासत से रिहा कर दिया गया.
इससे पूर्व झारखंड उच्च न्यायालय के न्यायाधीश आर आर प्रसाद ने सोमवार को इस मामले में फैसला सुनाया था और चारा घोटाले के आरसी 20ए-96 मामले में बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जगन्नाथ मिश्र को नियमित जमानत दे दी थी. इससे पूर्व तीन अक्तूबर, 2013 को इस मामले में चार वर्ष की कैद बामशक्कत की सजा पाने के बाद से वह अनेक बीमारियों के चलते इलाज के लिए 18 दिसंबर, 2013 से ही औपबंधिक जमानत पर थे.
बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जगन्नाथ मिश्र ने 19 मार्च को यहां चारा घोटाले के आर सी 20ए-96 मामले में योगेश्वर मणि की विशेष सीबीआई अदालत में आत्मसमर्पण कर दिया था जिसने उन्हें न्यायिक हिरासत में बिरसा मुंडा जेल भेज दिया था. बाद में स्वास्थ्य कारणों से मिश्र को यहां रिम्स अस्पताल में भर्ती कराया गया जहां उनका इलाज चल रहा था.
चारा घोटाले के चाईबासा कोषागार से 37 करोड 70 लाख रुपये की अवैध निकासी के मामले आर सी 20 ए-96 मामले में 30 सितंबर, 2013 को दोषी करार दिये जाने के बाद तीन अक्तूबर, 2013 को बिहार के दूसरे पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव एवं अन्य अनेक आरोपियों के साथ मिश्र को चार वर्ष की कडी कैद की सजा सुनायी गयी थी. जगन्नाथ मिश्र 18 दिसंबर, 2013 से स्वास्थ्य कारणों से प्राविधिक जमानत पर थे और उनका इलाज दिल्ली में एम्स में चल रहा था.
चाईबासा कोषागार से अवैध धन निकासी के इस मामले में पूर्व मुख्यमंत्री लालू यादव एवं अन्य नेताओं तथा अधिकारियों को पहले ही जमानत मिल चुकी है.इससे पूर्व मिश्र को आरसी 20ए-96 के अलावा अन्य सभी चारा घोटाले से जुडे मामलों में झारखंड उच्च न्यायालय से राहत मिल चुकी है. उनके खिलाफ लंबित अन्य मामले न्यायालय ने सबूतों के अभाव में खारिज कर दिये थे.
रिहाई के बाद जगन्नाथ मिश्र ने ‘पीटीआई भाषा’ से कहा कि उन्हें देश की न्याय व्यवस्था में पूरा भरोसा है और विश्वास है कि जल्द ही झारखंड उच्च न्यायालय निचली अदालत के आदेश के खिलाफ उनकी अपील पर भी अपना फैसला सुनायेगा जिससे उन्हें इस मामले में स्थायी राहत मिल सकेगी। उन्होंने दावा किया कि उन्हें चारा घोटाले में जानबूझकर बेवजह फंसाया गया था.