रांची : टेरर फंडिंग में सुदेश केडिया को एनआइए ने शुक्रवार को गिरफ्तार किया था. इसे लंबे समय से सरकारी बॉडीगार्ड मिला हुआ था, जो जिला सुरक्षा समिति रांची की ओर से दिया गया था. बॉडीगार्ड के एवज में सुदेश केडिया द्वारा जिला प्रशासन को पेमेंट किया जाना था. संबंधित बॉडीगार्ड को वेतन व अन्य मदों में जो राशि प्राप्त हाेती, उतनी ही राशि उसे देनी थी.
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टेरर फंडिंग में गिरफ्तार सुदेश को मिला था सरकारी बॉडीगार्ड
रांची : टेरर फंडिंग में सुदेश केडिया को एनआइए ने शुक्रवार को गिरफ्तार किया था. इसे लंबे समय से सरकारी बॉडीगार्ड मिला हुआ था, जो जिला सुरक्षा समिति रांची की ओर से दिया गया था. बॉडीगार्ड के एवज में सुदेश केडिया द्वारा जिला प्रशासन को पेमेंट किया जाना था. संबंधित बॉडीगार्ड को वेतन व अन्य […]
लेकिन उसने यह राशि भी जिला प्रशासन को नहीं दी. ऐसे में सवाल उठता है कि बॉडीगार्ड देने के लिए जिला सुरक्षा समिति किस प्रक्रिया को अपनाती है. सुरक्षा समिति के अध्यक्ष डीसी होते हैं. सिर्फ सुदेश केडिया ही नहीं बल्कि 55 और लोग भी हैं जिन्हें सुरक्षा के लिहाज से सरकारी अंगरक्षक दिया गया था.
इसमें सभी को जिला प्रशासन को पैसा देना था. अधिकांश लोगों ने पैसा नहीं दिया है. कुछ माह पूर्व तक बॉडीगार्ड के एवज में 12.47 लाख रुपये सुदेश केडिया पर बकाया था. मामले में रांची पुलिस के अधिकारी ने बताया कि चेक करने के बाद ही कहा जा सकता है कि केडिया ने बकाया का भुगतान किया या नहीं.
बता दें कि सुदेश केडिया व अन्य पर प्रतिबंधित संगठन टीएसपीसी व अन्य को फंडिंग करने का आरोप है. कोयला के बड़े कारोबारी इंद्रराज के लिए केडिया काम करता था. इंद्रराज की कोयला ट्रांसपोर्टिंग की गोदावरी कंपनी है. इससे पूर्व टेरर फंडिंग में ही सुधांशु रंजन उर्फ छोटू को एनआइए ने गिरफ्तार किया था. वह भी कोयला ट्रांसपोर्टिंग का काम करता था.
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