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इंतखाब की शिकायत पर शुरू हुई थी जांच
डीएम ने एक करोड़ से अधिक गबन की राशि आने पर निगरानी को सौंपी थी जांच निगरानी के डीएसपी नारायण सिंह व नागेंद्र कुमार सिंह के आवेदन पर हुई प्राथमिकी सीवान : तीन वर्ष पूर्व में नगर क्षेत्र में पथ प्रकाश के लिहाज से बड़ी संख्या में सोलर लाइट, हाइमास्ट, डेकोरेटिव पोल समेत अन्य सामग्रियों […]
डीएम ने एक करोड़ से अधिक गबन की राशि आने पर निगरानी को सौंपी थी जांच
निगरानी के डीएसपी नारायण सिंह व नागेंद्र कुमार सिंह के आवेदन पर हुई प्राथमिकी
सीवान : तीन वर्ष पूर्व में नगर क्षेत्र में पथ प्रकाश के लिहाज से बड़ी संख्या में सोलर लाइट, हाइमास्ट, डेकोरेटिव पोल समेत अन्य सामग्रियों की खरीद में किये गये घोटाला में आखिरकार कई निर्वाचित पदाधिकारी व अधिकारियों पर गाज गिर गयी. वार्ड पार्षद इंतखाब की शिकायत पर शुरू हुई जांच का अंत निगरानी के प्राथमिकी के साथ हुई है. इसमें निगरानी ने वर्तमान अध्यक्ष व उपाध्यक्ष तथा चार वार्ड पार्षद और पूर्व के कार्यपालक पदाधिकारी व अध्यक्ष सहित 14 को आरोपित किया है.
नगर पर्षद के वार्ड पार्षद इंतखाब की शिकायत पर जांच डीएम महेंद्र कुमार ने शुरू की थी. जांच में तीन करोड़ 85 लाख 47 हजार 63 रुपये की अनियमितता की बात सामने आयी.
जांच टीम में सीवान सदर के कार्यपालक दंडाधिकारी नवल किशोर प्रसाद, वरीय कोषागार पदाधिकारी व जिला लेखा पदाधिकारी शामिल रहे़ नियमानुसार एक करोड़ से अधिक की अनियमितता के मामले की जांच निगरानी टीम को करनी है़ इस कारण डीएम ने जांच रिपोर्ट को पटना के नगर विकास आवास विभाग कार्यालय को भेज दिया था. इसके बाद विभाग ने जांच को सही पाते हुए निगरानी से जांच करने के लिए पत्र लिखा. इसके बाद टीम ने यहां आकर पिछले आठ से 10 दिसंबर तथा इसके फिर दो दिन बाद फिर टीम यहां आकर जांच की. अपनी जांच रिपोर्ट के आधार पर धोखाधड़ी, सरकारी राशि के गबन व साजिश करने समेत गंभीर धाराओं में प्राथमिकी दर्ज की है. जांच में तीन करोड़ 87 लाख एक हजार 125 रुपये की अनियमितता सामने आयी.
इसमें तत्कालीन कार्यपालक पदाधिकारी राजीव रंजन प्रकाश, तत्कालीन सभापति अनुराधा देवी, वर्तमान सभापति बबलू प्रसाद, उपसभापति कर्णजीत सिंह, वार्ड पार्षद अभिनव श्रीवास्तव, अविनाश कुमार सिंह, अब्दुल खालिद, सुनीता देवी, किरण देवी के अलावा आपूर्तिकर्ता प्रमोद कुमार, संदीप कुमार बथानी, वीरेंद्र कुमार चौबे, हर्षवर्धन सिंह, रितेश आनंद सहित अन्य अज्ञात को आरोपित किया गया है. निगरानी के डीएसपी नारायण सिंह व नागेंद्र कुमार सिंह तथा इंस्पेक्टर सत्यनरायण राम के आवेदन पर यह प्राथमिकी दर्ज की गयी है.
इसका अनुसंधान डीएसपी मुन्ना प्रसाद करेंगे. जांच टीम के मुताबिक नगर पर्षद में कार्यपालक पदाधिकारी के पद पर राजीव रंजन प्रकाश की तैनाती थी़ मौजूदा समय में श्री प्रकाश सासाराम में इसी पद पर तैनात हैं. उनके द्वारा इन सामग्रियों के खरीद में भारी अनियमितता करने की वार्ड पार्षद इंतखाब अहमद ने शिकायत की थी़ इस शिकायत पर डीएम महेंद्र कुमार ने अपने स्तर से जांच करायी. पूर्व में वार्ड पार्षद श्री अहमद ने लोकायुक्त से अनियमितता की 13 बिंदुओं की शिकायत करते हुए जांच की मांग की थी. इसमें लोकायुक्त की जांच में आरोप सही पाये जाने पर कार्यपालक पदाधिकारी राजीव रंजन प्रकाश को निलंबित किया गया था.
अनुसंधान में साक्ष्य मिलने पर होगी गिरफ्तारी : एसपी
निगरानी, पटना के एसपी शिव कुमार झा ने कहा कि 14 लोगों पर प्राथमिकी दर्ज की गयी है. अब अनुसंधान की जिम्मेवारी डीएसपी मुन्ना प्रसाद को दी गयी है. अनुसंधान के दौरान साक्ष्य मिलने पर संतुष्ट होने के बाद ही गिरफ्तारी होगी. प्राथमिकी के बाद अनुसंधान प्रक्रिया है.
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