दवा दुकान में छापेमारी, व्यवसायियों में मचा हड़कंप प्रतिनिधि, पूर्णियादवा माफियाओं पर नकेल कसने की दिशा में दूसरे दिन भी दवा दुकान में छापेमारी हुई. शुक्रवार को प्र्रशासन ने शहर के शिव मंदिर रोड स्थित खान डिस्ट्रीब्यूटर में छापेमारी किया. स्वास्थ्य विभाग के प्रधान सचिव के निर्देश पर की गयी इस छापेमारी से दवा माफियाओं में दिन भर हड़कंप मचा रहा. छापेमारी के भय से दर्जनों दूकानों के शटर अचानक गिरने लगे. विभाग के अनुसार यह सिलसिला लगातार जारी रहेगा.कच्छप गति से हो रही है छापेमारीशुक्रवार को लाइन बाजार के शिव मंदिर रोड स्थित खान डिस्ट्रीब्यूटर में लगभग दो घंटे से अधिक समय तक छापेमारी की गयी. छापेमारी के दौरान कई दवा के सैंपल भी जांच हेतु जब्त किये गये. जबकि गुरुवार को इसी रोड के डोकानिया मेडिकल हॉल में छापेमारी की गयी थी. जानकार बताते हैं कि जिस कच्छप गति से जांच की रफ्तार जारी है,उससे यही प्रतीत होता है कि छापेमारी महज खानापूर्ति है. इस जांच से कहीं कुछ मिलने की उम्मीद नहीं की जा सकती है. इस छापेमारी टीम में सिविल सर्जन डॉ एमएम वसीम, औषधी निरीक्षक नीरज कुमार मानस,पुलिस पदाधिकारी मौजूद थे.दवा माफियाओं में हड़कंप इधर खान डिस्ट्रीब्यूटर के प्रतिष्ठान पर छापेमारी की जा रही थी. वहीं दूसरी ओर छापेमारी के भय से नकली एवं प्रतिबंधित दवा के विक्रेताओं के शटर गिरते जा रहे थे. इसमें शिव मंदिर रोड के दर्जनों खुदरा एवं थोक दुकान शामिल थे. जानकारों के अनुसार इस रोड में समय रहते तत्परता से छापेमारी की जाती तो प्रशासन को बड़ी कामयाबी मिलने की संभावना थी. किंतु छापेमारी की जो गति और प्रक्रिया है, उससे प्रतीत होता है कि प्रशासन किसी न किसी रुप में दवा माफियाओं को बचाना चाहती है.जानकारों के अनुसार दवा माफियाओं पर नकेल डालने के लिए छापेमारी टीम की संख्या बढ़ाने की आवश्यकता महसूस की जा रही है. जिस गति से अभी छापेमारी चल रही है, उससे दवा माफियाओं को संभलने का मौका मिल सकता है.विभाग की नीयत अब भी संदिग्धपिछले दो दिनों से चल रही छापेमारी से अब तक प्रशासनिक टीम को कोई बड़ी सफलता हाथ नहीं लगी है. जानकार बताते हैं कि अब भी दवा माफियाओं के प्रतिष्ठान के रास्ते से टीम गुजर जाती है, किंतु ऐसे संदिग्ध दुकानों की जांच पड़ताल तो दूर, झांकने की भी कोशिश नहीं की जाती है. गुरुवार को जहां छापेमारी की गयी थी, उसके ईद-गिर्द कई ऐसे माफियाओं का ठिकाना था, जहां नकली और गुणवत्ताविहीन दवाओं के व्यापार का संचालन होता था. इस बात से विभाग भी बखूबी वाकिफ है. लेकिन जानबूझ कर विभाग अनजान है तो कारण भी बखूबी समझा जा सकता है. सवालों के घेरे में औषधि निरीक्षण विभाग स्वास्थ्य नगरी में पसरे एक सौ से भी अधिक नकली एवं प्रतिबंधित दवा विक्रेताओं पर नकेल डालने से पहले प्रशासन को औषधी निरीक्षण विभाग पर नकेल डालने की आवश्यकता है.जानकार बताते हैं कि औषधी निरीक्षण विभाग यदि चाह ले तो एक भी नकली एवं प्रतिबंधित दवाओं के माफियाओं पर आसानी से नकेल डाला जा सकेगा. लेकिन इस काले धंधे को निरीक्षण विभाग का ही संरक्षण प्राप्त है. जिसके एवज में लाखों में सुविधा शुल्क उपलब्ध करायी जाती है. स्पष्ट है कि इससे न केवल सरकार को लाखों-करोड़ों का राजस्व का चूना लगता है, बल्कि ईमानदारीपूर्वक दवा व्यवसाय कर रहे व्यवसायियों को भी नुकसान उठाना पड़ रहा है. फोटो11पूर्णिया 6परिचय-छापामारी करते अधिकारी
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दवा दुकान में छापेमारी, व्यवसायियों में मचा हड़कंप
दवा दुकान में छापेमारी, व्यवसायियों में मचा हड़कंप प्रतिनिधि, पूर्णियादवा माफियाओं पर नकेल कसने की दिशा में दूसरे दिन भी दवा दुकान में छापेमारी हुई. शुक्रवार को प्र्रशासन ने शहर के शिव मंदिर रोड स्थित खान डिस्ट्रीब्यूटर में छापेमारी किया. स्वास्थ्य विभाग के प्रधान सचिव के निर्देश पर की गयी इस छापेमारी से दवा माफियाओं […]
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