पूर्णिया : दुर्गापूजा का समापन हो चुका है और अब दीप पर्व दस्तक दे रहा है. दीपावली से पहले घरों को सजाने-संवारने और उसे आधुनिक लुक देने की कवायद भी आरंभ हो गयी है. मकानों के इंटेरियर और आउटलुक को स्पेशल कलर से आकर्षक बनाने को लेकर बाजार में रंगों की खरीदारी में अभी भी सुस्ती बरकरार है.
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दिवाली की तैयारी में जुटा शहर, जीएसटी का दिख रहा असर
पूर्णिया : दुर्गापूजा का समापन हो चुका है और अब दीप पर्व दस्तक दे रहा है. दीपावली से पहले घरों को सजाने-संवारने और उसे आधुनिक लुक देने की कवायद भी आरंभ हो गयी है. मकानों के इंटेरियर और आउटलुक को स्पेशल कलर से आकर्षक बनाने को लेकर बाजार में रंगों की खरीदारी में अभी भी […]
यह भी सच है कि बीते वर्ष की तरह इस वर्ष रंगों के बाजार में स्टॉक कम है. पिछले वर्ष की तुलना में इस वर्ष रंगों का दाम जीएसटी की वजह से थोड़ा अधिक है. लेकिन लोगों की पसंद बदली है. धनाढ्य लोग घरों के बाहरी लुक को पेंट की जगह अब टाइल्स से सजाने लगे हैं. हालांकि इंटीरियर लुक के लिए आधुनिक रंगों का ही इस्तेमाल हो रहा है. करुणा पेंटस एवं हार्डवेयर के प्रोपराइटर जय कुमार बताते हैं कि समय के अनुसार डिमांड भी बदला है. इस वर्ष हर आदमी अपने घर को मॉडर्न रूप देने में लगा है. यही वजह है कि बाहर में टाइल्स के अलाव एक्सटीरियर वेदर टच कलर व इंटेरियर वेलवेट टच डायमंड कलर, पर्ल ग्लो जैसी कलर की बिक्री में कमी नहीं आयी है. हालांकि यह थोड़ा महंगा है लेकिन समय की मांग है.
इंटेरियर डिजाइनिंग पर लोग कर रहे हैं खर्च : घरों को नया लुक और दिवालों को डिजाइनर रंगों से बेहतर लुक देने के लिए इस वर्ष बंगाल के सिलीगुड़ी, रायगंज इत्यादि से भी कारीगर पूर्णिया आये हैं.
ऐसा नहीं है कि शहर में पेंटरों की कमी है लेकिन बड़े शहरों के नये-नये डिजाइनों एवं रंगीन कलर कंबिनेशन के साथ हर कोई अपने मकान का इंटेरियर और आउटलुक को आधुनिक बनाना चाहता है. इस मामले में बंगाल के पेंटरों को आधुनिक माना जाता है. पेंट दुकानदार जय कुमार एवं बिट्टू कुमार के अनुसार सबसे अधिक लोग इंटेरियर डिजाइनिंग पर खर्च कर रहे हैं. इन दिनों घरों के दिवारों को अलग-अलग रंगों से कलर कंबिनेशन के साथ रंगने का फैशन तेजी से चल पड़ा है. हर कोई इंटेरियर लुक को मल्टी ब्रांड कलर से सजाने में लगा है. इसके लिए जानकार पेंटर की जरूरत है.
20 से 25 करोड़ रुपये का हो सकता है कारोबार
पेंट कारोबारियों के अनुसार इस वर्ष रंगों के दाम में इजाफा जीएसटी लागू होने की वजह से हुआ है. जीएसटी के लागू होने से बाजार में खुदरा दुकानदारों में कमी आयी है तो वहीं स्टॉकिस्ट के पास भी स्टॉक पहले की तुलना में कम है. लेकिन कलर को लेकर डिमांड है, क्योंकि यह शहर में हो रहे चौतरफा बदलाव और समय की मांग है.
हालांकि आजकल घरों के बाहरी दिवारों पर टाइल्स और पत्थर इत्यादि लगाने का फैशन चल पड़ा है. लेकिन जिस कदर घरों के अंदर पुट्टी, कार्निस एवं महंगे रंगों का कलरफुल पेंटिंग का चलन बढ़ा है, उसमें वेल्वेट टच डायमंड कलर की बिक्री सबसे अधिक हो रही है. दुकानदारों की मानें तो इस वर्ष तकरीबन 20 से 25 करोड़ का कारोबार होने की संभावना है.
बीते वर्ष की दर
इंटेरियर वेलवेट टच कलर- 600 रुपये प्रति लीटर- 800 रुपये प्रति लीटर
इंटेरियर प्रॉमिश-150 रुपये प्रति लीटर- 250 रुपये प्रति लीटर
एक्स्टेरियर वेदर सिल्ड मैक्स- 350 रुपये प्रति लीटर- 500 रुपये प्रति लीटर
स्नो सेम-600 रुपये (प्रति 25 किलोलीटर)
डिस्टेम्पर- 950 रुपये (20 किलो पैकेट)
जीएसटी के बाद की दर
इंटीरियर वेलवेट टच कलर डायमंड – 650 रुपये से 850 रुपये प्रति लीटर
इंटीरियर प्रीमियम वाइट – 220 से 260 रुपये प्रति लीटर
वेस्ट क़्वालिटी डिस्टेम्पर – 1000 से लेकर 1500 रुपये 20 किलो पैकेट
एक्सटीरियर वेलवेट कलर – 700 से 1000 रुपये तक प्रति लीटर
स्नो सेम – 650 रुपये से 900 रुपये तक
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