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मोदी को नहीं दिख रहा शिक्षा में सुधार: संजय
पटना : जदयू मुख्य प्रवक्ता विधान पार्षद संजय सिंह ने कहा कि सुशील मोदी को शिक्षा स्तर में सुधार नहीं दिख रहा है. किस नजर से वे देखते हैं पता नहीं चलता है. उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने शिक्षा में सुधार के लिए काफी काम कर रहे हैं. आज स्कूल के बाहर रहने […]
पटना : जदयू मुख्य प्रवक्ता विधान पार्षद संजय सिंह ने कहा कि सुशील मोदी को शिक्षा स्तर में सुधार नहीं दिख रहा है. किस नजर से वे देखते हैं पता नहीं चलता है. उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने शिक्षा में सुधार के लिए काफी काम कर रहे हैं. आज स्कूल के बाहर रहने वाले बच्चों की संख्या 12 फीसदी से घटकर एक फीसदी रह गई है.
कन्या शिक्षा की दर एक लाख सत्तर हजार से बढ़कर आठ लाख पंद्रह हजार हो गयी है. जदयू प्रवक्ता ने कहा कि सरकार का ध्यान क्वालिटी एजुकेशन पर है. राज्य सरकार शिक्षा के साथ ही रोजगार को भी प्रोमोट करना चाहती है. प्रतिभा को निखारकर उनके लायक काम दिलाने के लिए कौशल विकास योजना शुरू की गयी है. बिहार सरकार अपने बजट का बीस फीसदी हिस्सा शिक्षा के लिए खर्च कर रही है. बिहार इकलौता राज्य है.
उन्होंने सुशील मोदी से कहा कि बिहार सरकार राज्य में शिक्षा आयोग गठित करने जा रही है. यह आयोग प्रदेश के प्राथमिक, माध्यमिक व उच्च शिक्षा को लेकर नीति का निर्धारण कर रोड मैप तैयार करेगा. इसी रोड मैप के आधार पर शिक्षा विभाग काम करेगा. उन्होंने कहा कि सुशील मोदी जी कृषि बीमा में देरी के लिए केंद्र की नीतियां दोषी है. इसमें केंद्र सरकार से बीमा कंपनियों द्वारा विभिन्न राज्यों में दिये गये प्रीमियम दरों में एकरूपता रखने की बात कही थी. सरकार अपने संसाधनों से ऐसे सभी कदम उठा रही जिससे किसानों की फसल सुरक्षित रह सके.
केंद्र की नीतियों के कारण दाल का संकट : नवल शर्मा
जदयू के प्रदेश प्रवक्ता नवल शर्मा ने कहा कि पूर्व उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी का यह आरोप सरासर मिथ्या है की राज्य सरकार दाल की कीमत में कमी नहीं आने देना चाहती है. उन्होंने कहा कि भाजपा नेता यह भूल रहे की दाल की कीमतों पर नियंत्रण रखना केंद्र सरकार की जिम्मेवारी है.
अगर बिहार में राज्य सरकार के चलते दाल सस्ता नहीं हो रहा है तो फिर अन्य राज्यों खासकर भाजपा शासित राज्यों में दाल सस्ता क्यों नहीं हो रहा है. सत्य यही है की केंद्र की गलत कृषि नीतियों के कारण देश में दाल का संकट पैदा हुआ है.
जदयू प्रवक्ता ने कहा कि सबसे बड़ा मजाक उस समय किया गया जब पीएम नरेंद्र मोदी ने मोजांबिक के किसानों को आउटसोर्सिंग कर दाल की खेती करवाने का एलान किया. इसी से साबित होता है की प्रधानमंत्री देश की कृषि और किसानों के प्रति कितने संवेदनशील हैं .
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