15.9 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

आइजीआइएमएस में चार माह बाद होगा ऑर्गन ट्रांसप्लांट

ओटी बनाने का चल रहा है काम, सभी तरह के अंग के लिए बनेगा ल्यूकोसाइट एंटीजन, सुरक्षित रहेंगे अंग आनंद तिवारी पटना : अब आजीआइएमएस में अंग नहीं मिलने से मरीजों को निराश नहीं लौटना पड़ेगा. क्योंकि अस्पताल प्रशासन आइजीआइएमएस में आॅर्गन ट्रांसप्लांट सेंटर स्थापित करने जा रहा है. इसके लिए अस्पताल में ऑपरेशन थियेटर […]

ओटी बनाने का चल रहा है काम, सभी तरह के अंग के लिए बनेगा ल्यूकोसाइट एंटीजन, सुरक्षित रहेंगे अंग
आनंद तिवारी
पटना : अब आजीआइएमएस में अंग नहीं मिलने से मरीजों को निराश नहीं लौटना पड़ेगा. क्योंकि अस्पताल प्रशासन आइजीआइएमएस में आॅर्गन ट्रांसप्लांट सेंटर स्थापित करने जा रहा है.
इसके लिए अस्पताल में ऑपरेशन थियेटर का काम शुरू कर दिया गया है. ट्रांसप्लांट मशीन व उपकरण लाने के बाद यहां आॅर्गन ट्रांसप्लांट शुरू कर दिया जायेगा. अस्पताल अधिकारियों की मानें, तो इस साल के अंत यानी चार महीने बाद आॅर्गन की सुविधा अस्पताल में मिलने लगेगी. प्रदेश में अंग प्रत्यारोपण की कोई सुविधा नहीं है. एकमात्र अस्पताल आइजीआइएमएस में ही किडनी ट्रांसप्लांट की सुविधा है. लेकिन अस्पताल में किडनी ट्रांसप्लांट के बाद यह अन्य अंग फैक्टरी बनने जा रहा है. इसके बाद जल्द ही संस्थान में लीवर ट्रांसप्लांट, फेफड़े सहित कई अन्य ट्रांसप्लांट की सुविधा भी शुरू होगी, ताकि मरीजों को दूर-दूर भटकना पड़ेगा.आइजीआइएमएस के अपर चिकित्सा अधिकारी डॉ मनीष मंडल ने बताया किकिडनी व आइ के बाद अगले चार से पांच महीने के अंदर आइजीआइएमएस में आॅर्गन ट्रांसप्लांट शुरू कर देगा. इसकी तैयारी शुरू कर दी गयी है.
पांच जिंदगियां बचेंगी, बनेगा ल्यूकोसाइट एंटीजन
आॅर्गन ट्रांसप्लांट के तहत ब्रेन डेथ के मरीजों का भी इलाज किया जायेगा. इससे यहां पांच लोगों की बचेगी जिंदगी बच जायेगी. अस्पताल के अधिकारियों की माने तो सेंटर में हेड इंज्यूरी से होने वाले मौत के मरीजों की किडनी को सुरक्षित रखा जायेगा. इसके लिए ल्यूकोसाइट एंटीजन लैब बनेगा. जहां ब्रेन डेथ मरीजों की किडनी को सुरक्षित रखा जायेगा.
एक व्यक्ति के इस अंगदान से दो किडनी, एक हृदय, एक लीवर व एक पैनक्रियाज जमा हो सकेगा. इससे पांच लोगों की जिंदगी बचायी जा सकती है. पूरे बिहार में हर साल करीब 100 मरीजों को गुर्दा प्रत्यारोपण की जरूरत पड़ती है. जबकि करीब 50 हजार मरीज या तो डायलिसिस या जटिलताओं का शिकार से जूझ रहे हैं. वहीं आइजीआइएमएस में दो ब्रेन डेथ के मामले रोजाना आ रहा है, ऐसे में इनके अंग दान से काफी राहत मिलेगा.
पटना : आइजीआइएमएस में इलाज करा रही महिलाओं के लिए राहत भरी खबर है. अब उनको कैंसर का टीका प्रिंट रेट से महज 30 प्रतिशत की लागत पर अस्पताल में ही उपलब्ध हो जायेगा. इस माह के अंत तक इसकी शुरुआत कर दिया जायेगा. अस्पताल में लगातार आ रहे कैंसर की शिकायतों को देखते हुए यह निर्णय लिया गया है.
इसमें ब्रेस्ट, सर्वाइकल कैंसर दोनों तरह की महिलाएं को शामिल किया गया है. आइजीआइएमएस के कैंसर विभाग की ओर से इसकी शुरुआत की जा रही है. सस्ती दरों पर टीका कहां से मिलेगा इसका चयन बहुत जल्द कर लिया जायेगा. अस्पताल अधिकारियों की माने तो प्रदेश में लगातार महिलाओं में सर्वाइकल कैंसर के मामले अधिक आ रहे हैं. इस तरह की महिलाओं के उपचार में किमोथेरेपी के अलावा दवा व टीके के तौर पर इंजेक्शन लगाया जाता है.
इंजेक्शन काफी हद तक कैंसर सेल के खिलाफ इम्यून सिस्टम को सक्रिय करता है और उससे लड़ने में सहायक सिद्ध होता है. मार्केट में टीका का दाम तीन से चार हजार रुपये के आस पास है. महंगे दाम की वजह से कई महिलाएं इस टीका को नहीं लगा पाती थी.
ऐसे में आइजीआइएमएस प्रशासन ने मरीजों को सुविधा देते हुए प्रिंट रेट से महज 30 प्रतिशत की लागत से कैंसर का टीका उपलब्ध कराने जा रहा है. इसमें खासकर सर्वाइकल कैंसर, ब्रेस्ट कैंसर आदि में महिलाओं को राहत मिलेगी. इसके अलावा दूसरा टीका लड़कियों को लगाया जायेगा.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें