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बच्चा राय कॉलेज का संबंधन रद्द करने की होगी अनुशंसा, 48 घंटे के अंदर विवि सौंपेगा पूरी रिपोर्ट
मुजफ्फरपुर : बच्चा राय कॉलेज की जांच कर रही बीआरए बिहार विवि की तीन सदस्यीय कमेटी ने अपनी रिपोर्ट बुधवार को कुलपति डॉ पी पलांडे को सौंप दी. रिपोर्ट मिलने के बाद कुलपति के आदेश पर एक टीम कॉलेजों की जांच करने वैशाली गयी है. डॉ पलांडे ने बताया कि एफिलिएशन कमेटी सहित अन्य विवि […]
मुजफ्फरपुर : बच्चा राय कॉलेज की जांच कर रही बीआरए बिहार विवि की तीन सदस्यीय कमेटी ने अपनी रिपोर्ट बुधवार को कुलपति डॉ पी पलांडे को सौंप दी. रिपोर्ट मिलने के बाद कुलपति के आदेश पर एक टीम कॉलेजों की जांच करने वैशाली गयी है. डॉ पलांडे ने बताया कि एफिलिएशन कमेटी सहित अन्य विवि मेंबरों के साथ बैठक कर सरकार के समक्ष संबंधन रद्द करने की अनुशंसा करेगी. विवि 48 घंटे के अंदर फैसला लेते हुए राजभवन को अपनी पूरी रिपोर्ट सौंपने की तैयारी कर चुकी है. इस निर्णय पर सरकार क्या फैसला लेती है, यह सरकार तय करेगी. कुलपति ने बताया कि संबंधनरद्द करने का अधिकार विवि के पास नहीं है. संबंधन केवल सरकार ही रद्द कर सकती है. विवि केवल इसकी अनुशंसा कर सकती है.
तीन कॉलेज मापदंड पर खरे नहीं : विवि जांच कमेटी ने जो रिपोर्ट सौंपी है, उसके आधार पर बच्चा राय का केवल राजदेव राय डिग्री काॅलेेज ही मापदंड पर खरा उतरता है. वीसी ने बताया कि राजदेव राय डिग्री कॉलेज के कागजात सही पाये गये हैं, लेकिन अन्य तीन कॉलेज सियावती लाल मुन्नी देवी डिग्री कॉलेज, ठाकुर रामचंद्र राजदेव बाउवाजौर डिग्री कॉलेज व राजदेव राय लाल मुन्नी डिग्री कॉलेज के कागजात अभी तक नहीं मिल रहे हैं. इसकी जांच के लिए टीम को सियावती लाल मुन्नी देवी डिग्री कॉलेज भेजा गया है. जांच के बाद ही इसकी स्थिति स्पष्ट होगी. साथ ही तीनों कॉलेजों के कागजातों को ढूढ़वाया जा रहा है.
एक ही कागजात हर जगह लगाये गये : जांच कमेटी ने जो रिपोर्ट सौंपी है, उसमें यह बात सामने आयी है कि बच्चा राय के कॉलेज का संबंधन लेने के लिए एक ही कागजात हर जगह लगाये गये हैं. हालांकि इस मामले में कुलपति ने कहा कि केवल एक काॅलेज के
ही कागजात मिले हैं. अन्य तीनकॉलेजों के जरूरी कागजात नहीं
मिल रहे हैं, जो बेहद महत्वपूर्ण है. अगर कागजात नहीं मिलते हैं तो यह माना जायेगा कि इन कॉलेजों के संबंधन के लिए एक ही कागजात का उपयोगकिया गया है.
छात्रों को नहीं होगा नुकसान
कुलपति ने बताया कि हाईकोर्ट का फैसला है कि छात्रों का किसी भी कीमत पर साल बर्बाद नहीं होना चाहिए. इसके लिए विवि ने तैयारी पूरी कर ली है. हाईकोर्ट के आदेश को ध्यान में रखते हुए विवि बच्चा राय के कॉलेजों की परीक्षा करायेगा. इसके लिए अगर दूसरे कॉलेज का सहारा लेना पड़े तो लिया जायेगा. लेकिन छात्रों का साल नुकसान नहीं होगा.
देखी गयी है सीडी : जांच
रिपोर्ट मिलने के बाद कुलपति ने आनन-फानन में विवि अधिकारियों के साथ बैठक की. विवि सूत्राें की मानें तो इसमें उस सीडी को भी देखा गया है, जो कॉलेज को संबंधन देने के वक्त तैयार की गयी थी. इसमें यह बात सामने आयी है कि जिस वक्त टीम वहां जांच के लिए गयी थी, उस वक्त कॉलेज के बोर्ड को तैयार करने के लिए रंगरोगन का काम किया गया था. उसी के आधार पर संबद्धता भी ली गयी थी. लेकिन इस मामले में विवि के अधिकारियों ने कुछ कहने से इनकार किया है.
कई पूर्व अधिकारियों की फंस रही गरदन : जांच कमेटी ने जो रिपोर्ट सौंपी है, उसके आधार पर पूर्व के कई अधिकारियों की गरदन बच्चा राय कॉलेज प्रकरण में फंस रही है. मामला हाई प्रोफाइल होने की वजह विवि के अधिकारी इस मामले में बहुत ही फूंक-फूंक कर कदम रख रहे है. विवि सूत्रों की मानें तो इस प्ररकण के बाद कई पूर्व अधिकारियों के पेंशन भी रोके जा सकते हैं.
मैट्रिक 2014 की टॉपर बनने की खुलेगी कहानी, होगा रिजल्ट रद्द !
पटना. बच्चा राय की बेटी 2014 की मैट्रिक टॉपर कैसे बनी. इसके लिए बिहार विद्यालय परीक्षा समिति के पूर्व अध्यक्ष लालकेश्वर प्रसाद सिंह ने कैसे इस काम को अंजाम तक पहुंचाया. किस आधार पर शालिनी राय को टॉपर घोषित किया गया. अब इन तमाम बातों से अब परदा हटेगा. पूर्व अध्यक्ष लालकेश्वर प्रसाद सिंह से इस मामले में भी पूछताछ की जायेगी. शालिनी राय के 2014 में मैट्रिक टॉपर बनने संबंधित सारे कागजात एसआइटी की टीम ने जमा करना शुरू कर दिया है. इसी सिलसिले बुधवार को एसआइटी की टीम ने टॉपर्स से संबंधित कागजात भी जुटा रही है. वहीं साइंस के टॉपर्स की उत्तर पुस्तिका भी एसआइटी टीम ले कर गयी है.
तो कैंसिल हो जायेगा रिजल्ट
एसआइटी के अलावा समिति अपने स्तर से भी 2014 मैट्रिक के रिजल्ट की जांच करेगी. इसके लिए 2014 की उत्तर पुस्तिका को खोजा जा रहा है, लेकिन इसको लालकेश्वर प्रसाद ने नष्ट कर दिया है. इसके अलावा एटेंडेंस सीट और रिजल्ट को खंगाला जायेगा. इसके अलावा टाॅपर के स्कूल के रिजल्ट की जांच करवायी जायेगी. इससे टॉपर के रिजल्ट बनने की बातें सामने आयेंगी. जांच में सही पाये जाने पर 2014 के मैट्रिक के टॉपर लिस्ट में बदलाव किया जायेगा. इस संबंध में समिति के अध्यक्ष आइएएस आनंद किशोर ने बताया कि उत्तर पुस्तिका नहीं होने से हमें दिक्कतें हो रही है. 2014 के टॉपर लिस्ट का जांच में बच्चा राय की बेटी का आना संदिग्ध है.
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