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29 नक्सलग्रस्त जिलों में चुनाव कराना आयोग के लिए चुनौती
कौशिक रंजन, पटना राज्य में नक्सली समस्या तेजी से बढ़ती जा रही है. 38 में 29 जिले कम और ज्यादा नक्सल प्रभावित हैं. सभी 29 नक्सल प्रभावित जिलों को नक्सली गतिविधियों और वारदातों के हिसाब से तीन श्रेणियों ए, बी और सी में बांटा गया है. इस बार दूसरे और तीसरे चरण में जिन 12 […]
कौशिक रंजन, पटना
राज्य में नक्सली समस्या तेजी से बढ़ती जा रही है. 38 में 29 जिले कम और ज्यादा नक्सल प्रभावित हैं. सभी 29 नक्सल प्रभावित जिलों को नक्सली गतिविधियों और वारदातों के हिसाब से तीन श्रेणियों ए, बी और सी में बांटा गया है.
इस बार दूसरे और तीसरे चरण में जिन 12 जिलों की 82 विधानसभा सीटों पर विधानसभा चुनाव होना है. वह सभी श्रेणी ए, बी और सी से प्रभावित हैं. इन जिलों में प्रशासन को शांतिपूर्ण चुनाव कराना बेहद चुनौतीपूर्ण होगा. हालांकि इसके लिए व्यापक स्तर पर प्रबंध किये गये हैं. इन जिलों में केंद्रीय पारा मिलेट्री फोर्स (सीपीएमएफ) की तैनाती अन्य जिलों के मुकाबले दो गुणा से ज्यादा होगी. एयर एंबुलेंस और हेलीकॉप्टर तक की व्यवस्था होगी. नक्सल क्षेत्रों में सेना के तीन-चार हेलीकॉप्टर सेनिगेहबानी रखी जायेगी.
आज की तारीख में गया, जमुई और औरंगाबाद हार्डकोर नक्सल इलाका. जबकि रोहतास, कैमूर और जहानाबाद सॉफ्ट नक्सली इलाका माना जा रहा है. इन जिलों की विधानसभा सीटों में चुनाव कराना बेहद मशक्कत भरा होगा. विधानसभा सीटों में जरूरत के हिसाब से केंद्रीय बलों को तैनात किया जायेगा. फिर भी एक अनुमान के मुताबिक एक जिले में लगभग 5-6 हजार केंद्रीय फोर्स तैनात किये जायेंगे.
चुनौती
नक्सली अपनी धमक जताने के लिए इन क्षेत्रों में बड़े स्तर पर परचा फेंक रहे हैं और रात में बाजारों में बड़े स्तर पर पोस्टर चिपका रहे हैं. गया, जमुई, सहरसा, औरंगाबाद जिलों में बड़े स्तर पर परचे और पोस्टर मिले हैं. इनमें मतदान का बहिष्कार करने से संबंधित बातें लिखी गयी हैं. नक्सली वारदातों को अंजाम देने की बात कही गयी है. कई प्रत्याशियों पर भी हमले की आशंका जतायी गयी है.
जिलों की श्रेणी
श्रेणी ए- गया, औरंगाबाद, जमुई, मुजफ्फरपुर, रोहतास और मोतिहारी श्रेणी बी- वैशाली, सारण, मुंगेर, सीतामढ़ी, शिवहर, लखीसराय और बांका
श्रेणी सी- पटना, जहानाबाद, बेगूसराय, नवादा, अरवल, भभुआ (कैमूर), भोजपुर, नालंदा, कटिहार, खगड़िया, बक्सर, गोपालगंज, सहरसा, भागलपुर, बेतिया और बगहा.
दूसरा चरण : 32 सीटें
– कैमूर, रोहतास, अरवल, जहानाबाद, औरंगाबाद और गया. – इसमें श्रेणी ए के तहत रोहतास, गया और औरंगाबाद जिले आते हैं. वहीं, कैमूर, अरवल और जहानाबाद श्रेणी सी के तहत संवेदनशील माने जाते हैं.
तीसरा चरण : 50 सीटें
– सारण, वैशाली, नालंदा, पटना, भोजपुर और बक्सर.- इसमें श्रेणी बी में सारण और वैशाली तथा श्रेणी सी में नालंदा, पटना, भोजपुर और बक्सर आते हैं.
सुरक्षा
ये होंगे इंतजाम
– श्रेणी ए जिले की विधानसभा सीटों पर मतदान का समय सुबह 7 से दोपहर 3 बजे तक, – श्रेणी बी और सी जिले की विधानसभा सीटों पर वोटिंग का समय सुबह 7 से शाम 4 बजे तक ,- सभी नक्सल प्रभावित क्षेत्र में पारा मिलेट्री फोर्स की तैनाती सामान्य सीटों से दोगुणा संख्या में, – इन इलाकों की सभी बूथों पर सामान्य बूथों की तुलना में तीन-चार सीपीएमएफ के जवान होंगे ज्यादा, – एयर एंबुलेंस और हेलीकॉप्टर की होगी खासतौर से व्यवस्था, हवाई निगरानी के लिए 3-4 हेलीकॉप्टर होंगे, – बूथों के बाहर भी पेट्रोलिंग, सर्च समेत अन्य ऑपरेशन में सीपीएमएफ लगाये जायेंगे – रोड ओपनिंग पार्टी (आरओपी) यानी फ्लैग मार्च और सड़क पर जगह
-जगह केंद्रीय फोर्स की टुकड़ियां रहेंगी
– एरिया डोमिनेशन किया जायेगा, हर थाना क्षेत्र में प्रर्याप्त मात्रा में केंद्रीय फोर्स तैनात किया जायेंगे
– लैंड माइंस से बचाव के लिए डिमाइनिंग ऑपरेशन बड़े स्तर पर चलाया जा रहा है.
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