पटना: लोकसभा चुनाव में भाजपा कार्यकर्ताओं ने घर-घर जाकर परची बांटी थी, लेकिन उसे बूथों पर मान्यता नहीं मिली. केवल बीएलओ द्वारा जारी वोटर परची को ही मान्यता दी गयी. अगर ऐसा नहीं होता, तो बिहार में भाजपा को और शानदार जीत मिलती. ये बातें गुरुवार को 21 लोकसभा व 180 विधानसभा क्षेत्रों के प्रभारियों ने समीक्षा बैठक में कहीं. बैठक में एक-एक क्षेत्र की समीक्षा हुई.
कहां पार्टी कमजोर पड़ी और कहां मजबूत हुई, इसकी रिपोर्ट प्रभारियों ने दी. प्रदेश पदाधिकारियों ने प्रभारियों से अपने-अपने क्षेत्र में हर वर्ग के लोगों को पार्टी से जोड़ने की अपील की. इसका लाभ आनेवाले विधानसभा चुनाव में पार्टी को मिलेगा. बैठक में प्रदेश अध्यक्ष मंगल पांडेय, भाजपा विधानमंडल दल के नेता सुशील मोदी, विधानसभा में प्रतिपक्ष के नेता नंद किशोर यादव, प्रदेश संगठन महामंत्री नागेंद्र जी और शिव नारायण जी ने प्रभारियों से चुनाव की विस्तृत जानकारी ली.
बैठक में गंठबंधन के तहत लड़ी रालोसपा व लोजपा के क्षेत्रों की भी जानकारी ली गयी. भाजपा ने गंठबंधन के प्रत्याशियों के क्षेत्र में भी अपने कार्यकर्ताओं को महत्वपूर्ण जिम्मेवारी सौंपी थी. प्रभारियों ने बताया कि इस बार के चुनाव में भाजपा ने 173 विधानसभा क्षेत्रों में भारी बढ़त हासिल की.