मुजफ्फरपुर: बीआरए बिहार विवि में स्नातक पार्ट वन के हजारों पेंडिंग रिजल्ट के सुधार के लिए इन दिनों केंद्रीयकृत टेबुलेटिंग का कार्य चल रहा है. पिछले चार दिनों में अब तक 500 आवेदनों का निष्पादन किया गया है, जबकि करीब 5000 आवेदन अब भी लंबित हैं. आवेदनों के अतिरिक्त भी काफी संख्या में रिजल्ट पेंडिंग हैं. प्रतिकुलपति डॉ प्रभा किरण के निर्देशानुसार सभी आवेदनों के निष्पादन के बाद टीआर के आधार पर पेंडिंग रिजल्ट का सुधार किया जाना है.
पेंडिंग रिजल्ट के सुधार के दौरान टेबुलेटरों को सबसे ज्यादा परेशानी अधूरे टीआर के कारण हो रही है. कई कॉलेजों के टीआर में परीक्षार्थियों के नाम व रौल नंबर अंकित नहीं है. ऐसे में उन्हें रिजल्ट सुधार के लिए अतिरिक्त मेहनत करनी पड़ रही है. शुरुआत में कुछ विषयों के मार्क्स गायब होने की बात सामने आयी थी. पर फिलहाल परीक्षा विभाग की ओर से टेबुलेटरों के डिमांड के अनुसार मार्क्स उपलब्ध कराये जा रहे हैं.
बिना हस्ताक्षर सुधार
केंद्रीयकृत टेबुलेटिंग से पूर्व स्नातक पार्ट वन के रिजल्ट में सुधार के लिए स्पेशल टेबुलेटिंग का कार्य कराया गया था. इस दौरान काफी संख्या में रिजल्ट में सुधार किया गया.
कुल अंक में सुधार के लिए ओवर राइटिंग की गयी. पर कहीं भी स्पेशल टेबुलेटर का हस्ताक्षर नहीं हुआ. यहीं नहीं टीआर में अतिरिक्त नाम जोड़ने के लिए अलग से पेपर अटैच करने का प्रावधान है. पर कई टीआर में टेबुलेटर के हस्ताक्षर के नीचे खाली जगहों में परीक्षार्थियों के नाम, रौल नंबर व अंक अंकित कर दिये गये हैं. इसके कारण टीआर रजिस्टर में गड़बड़ी की आशंका बनी हुई है.