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मुजफ्फरपुर : नाम-पता मालूम होने के बावजूद बच्चों को बाल गृह में रखे जाने पर उठे सवाल

सुनील कुमार सिंह, मुजफ्फरपुर : नाम-पता मालूम होने के बावजूद बाल गृह में बच्चों को रखे जाने के मामले में अब बाल गृह अधीक्षक से स्पष्टीकरण मांगा जायेगा. डीएम के एसएसपी समेत वरीय अधिकारियों की जांच के बाद यह कार्रवाई शुरू हुई है. निरीक्षण समिति ने बाल गृह में औचक जांच के बाद वहां मौजूद […]

सुनील कुमार सिंह, मुजफ्फरपुर : नाम-पता मालूम होने के बावजूद बाल गृह में बच्चों को रखे जाने के मामले में अब बाल गृह अधीक्षक से स्पष्टीकरण मांगा जायेगा. डीएम के एसएसपी समेत वरीय अधिकारियों की जांच के बाद यह कार्रवाई शुरू हुई है.
निरीक्षण समिति ने बाल गृह में औचक जांच के बाद वहां मौजूद 47 में से 30 बच्चों के अपना नाम-पता, अभिभावक का नाम और लैंडमार्क बताये जाने के बाद भी उन्हें पुनर्वासित नहीं कराये जाने के मामले को गंभीरता से लिया है. डीएम ने बाल संरक्षण अधिकारी को बाल गृह के अधीक्षक से इस मामले में स्पष्टीकरण मांगने का आदेश दिया है.
निरीक्षण समिति में शामिल डीएम, एसएसपी, उप विकास आयुक्त नगर पुलिस अधीक्षक, जिला परिवहन पदाधिकारी, अनुमंडल पदाधिकारी जिला प्रोग्राम पदाधिकारी और बाल संरक्षण इकाई के सहायक निदेशक ने रिपोर्ट में निम्न निर्देश दिया है :
डीएम और एसएसपी के निरीक्षण के बाद कार्रवाई
नाम-पता मालूम होने के बाद भी बच्चों को रोकने में बाल गृह से मांगा जायेगा स्पष्टीकरण
निरीक्षण समिति ने बाल संरक्षण अधिकारी को स्पष्टीकरण मांगने का दिया आदेश
बाल गृह के अधीक्षक और बाल कल्याण समिति से बच्चावार पृच्छा प्रतिवेदन प्राप्त किया जायेगा कि किस कारण से बच्चों को उनके परिजनों तक नहीं पहुंचाया गया.
बाल गृह के अधीक्षक और बाल कल्याण समिति से विशेष बैठक आयोजित कर प्रत्येक बच्चों के पुनर्वासन पर निर्धारित प्रक्रिया के अनुसार विचार-विमर्श करने,पुनर्वासन के लिए जो भी संसाधन की आवश्यकता हो उसकी अधियाचिका बाल संरक्षण इकाई को तुरंत उपलब्ध कराने और निर्धारित प्रक्रिया के अनुसार बच्चों के परिजनों व घर का सत्यापन कर उन्हें सही सलामत पहुंचाने की व्यवस्था करने का आदेश दिया गया है.
जिला परिवहन पदाधिकारी को बच्चों को पहुंचाने के लिए वाहन की व्यवस्था करने,अनुमंडल पदाधिकारी को मजिस्ट्रेट नियुक्त कर बच्चों को गंतव्य तक पहुंचाने के लिए निर्देशित किया गया है.
बच्चों को घर भेजने के पूर्व एसडीओ (पूर्वी) एवं सिटी एसपी प्रत्येक बच्चों का फीडबैक प्राप्त करेंगे. इन दोनों पदाधिकारी के अतिरिक्त जिला बाल संरक्षण इकाई के सहायक निदेशक,दो महिला काउन्सलर,केंद्र समन्वयक,चाइल्ड लाइन,सदर अस्पताल के शिशु विशेषज्ञ एवं एक मनोविश्लेषक को भी टीम में शामिल करने का निर्देश दिया गया है.

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