मधुबनी : बेनीपट्टी अनुमंडल के बरहा गांव निवासी कथाकार श्याम दरिहरे को मैथिली भाषा में इस वर्ष का साहित्य अकादमी पुरस्कार मिला है. यह पुरस्कार उनकी किताब ‘बड़की काकी एट हॉटमेल डाट कॉम’ के लिए दिया गया है. इससे जिले के साहित्य जगत में हर्ष का माहौल है. नवारंभ प्रकाशन से 2013 में प्रकाशित उनकी इस पुस्तक में 18 लघु कथाएं हैं. श्री दरिहरे का मूल नाम श्याम चंद्र झा है. वे झारखंड पुलिस सेवा से डिविजनल कमांडेंट के पद सेवानिवृत्त होकर पटना में रहते हैं. घोषणा के
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दरिहरे को मैथिली का साहित्य अकादमी
मधुबनी : बेनीपट्टी अनुमंडल के बरहा गांव निवासी कथाकार श्याम दरिहरे को मैथिली भाषा में इस वर्ष का साहित्य अकादमी पुरस्कार मिला है. यह पुरस्कार उनकी किताब ‘बड़की काकी एट हॉटमेल डाट कॉम’ के लिए दिया गया है. इससे जिले के साहित्य जगत में हर्ष का माहौल है. नवारंभ प्रकाशन से 2013 में प्रकाशित उनकी […]
दरिहरे को मैथिली
बाद श्री दरिहरे ने बताया कि पुरस्कार से मान्यता मिलती ही है. इसके लिए प्रसन्नता है. यह एक पड़ाव है, मंजिल अभी दूर है. श्री दरिहरे के पुरस्कार पर जिले के साहित्य प्रेमियों ने प्रसन्नता व्यक्त की है. हर्ष व्यक्त करनेवालों में प्रो. जगन्नाथ झा, प्रो. योगानंद सुधीर, अजीत आजाद, उदय जायसवाल, रामेश्वर निशांत, लंबोदर झा, प्रो. सर्वनारायण मिश्र, दीपनारायण विद्यार्थी, डॉ विनय विश्व बंधु, इंद्रनाथ ठाकुर, दिलीप कुमार झा, दयाशंकर मिथिलांचली, सुभाष सिनेही, विजय शंकर पासवान, सोनू कुमार, इंद्रकांत झा, प्रो. शुभ कुमार वर्णवाल, प्रो. अनिल कुमार, प्रो. अरविंद कुमार सिंह झा सहित कई साहित्यकार शामिल हैं.
यह संग्रह हो चुके हैं प्रकाशित
इस कथा संग्रह से पूर्व उनका मैथिली भाषा में सरिसो में भूत कथा संग्रह वर्ष 2004, धर्मवीर भारती का लिखित कविता संग्रह कनुप्रिया का मैथिली भाषा में अनुवाद वर्ष 2004, हिंदी में गंगा नहाना बाकी है वर्ष 2014, मैथिली कविता संग्रह क्षमा करब हे महादेव वर्ष 2016 में प्रकाशित हो चुका है.
मधुबनी के बेनीपट्टी के रहनेवाले हैं श्याम दरिहरे
कहानी संग्रह ‘बड़की काकी एट हॉटमेल डाट कॉम’ के लिए मिला सम्मान
पुरस्कार मिलने से मिथिलांचल में हर्ष
बोले दरिहरे, यह एक पड़ाव है, मंजिल अभी दूर
िहंदी के िलए नासिरा शर्मा को िमला सम्मान
नयी दिल्ली. इस वर्ष साहित्य अकादमी का प्रतिष्ठित पुरस्कार हिंदी के लिए नासिरा शर्मा (उपन्यास पारिजात), उर्दू के लिए निजाम सिद्दीकी (समालोचना माबाद-ए-जदिदिआज से नये अहेद की तखलिकियात तक), अंगरेजी के लिए जेरी पिंटो (उपन्यास एम एंड द बिग हूम)और संस्कृत के लिए सीतानाथ आचार्य शास्त्री
िहंदी के िलए नासिरा
(काव्यनिर्झरी) सहित 24 भाषाओं के रचनाकारों को देने का एलान किया गया. साहित्य अकादमी के सचिव के श्रीनिवास राव ने बताया कि यह पुरस्कार अगले साल 22 फरवरी को दिल्ली में आयोजित एक समारोह में दिये जायेंगे. राव ने बताया कि मैथिली में श्याम दरिहरे को उनके कहानी संग्रह ‘बड़की काकी एट हॉटमेल डॉट कॉम’ और संथाली में गोबिंदचंद्र माझी को कविता संग्रह ‘नालहा’ के लिए इस प्रतिष्ठित सम्मान से नवाजा जायेगा.
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