मधेपुरा : फिल्मों का सफर कोई आसान सफर नहीं होता. एनएसडी के बाद संघर्ष करने के दौरान कई फिल्में, टेलीविजन सीरियल से लेकर डॉक्युमेंट्री फिल्मों में काम करने का मौका मिला. पर जो सुकून थियेटर देता है, रंगमंच देता है. वैसा सुकून विरले मिल पाता है. बगैर रिटेक का मौका लिये दर्शकों के सामने सशक्त […]
मधेपुरा : फिल्मों का सफर कोई आसान सफर नहीं होता. एनएसडी के बाद संघर्ष करने के दौरान कई फिल्में, टेलीविजन सीरियल से लेकर डॉक्युमेंट्री फिल्मों में काम करने का मौका मिला. पर जो सुकून थियेटर देता है, रंगमंच देता है. वैसा सुकून विरले मिल पाता है. बगैर रिटेक का मौका लिये दर्शकों के सामने सशक्त अंदाज में अपनी बात को रखना रंग मंच ही सिखाता है.
गुरुवार को फिल्म कलाकार व थियेटर के जाने माने अभिनेता रामबहादुर रेणु ने नवाचार रंग मंडल द्वारा आयोजित कार्यक्रम में संबोधित करते हुये कही. संस्था द्वारा पुष्पगुच्छ, अंगवस्त्र व मिथिला की पहचान पाग पहनाकर रामबहादुर रेणु को सम्मानित किया. रेणु ने कहा कि राज्यसभा टीवी द्वारा संविधान में कार्य करते वक्त देश के नामचीन नेताओं तथा तत्कालीन परिस्थिति को समझने का मौका मिला.
रंगकर्मी करें आत्म मंथन, तभी कर सकेंगे अभिनय
रेणु ने स्थानीय कलाकरों को रंग मंच से जुड़े कई महत्वपूर्ण व बारीक जानकारी दी. उन्होंने कहा कि हर रंगकर्मी को अपनी भूमिका में आत्ममंथन करना चाहिए. ताकि मंचन करने के समय सही अभिनय कर सकेंगे. उन्होंने कहा कि इस छोटी सी जगह में रहते हुए भी नवाचार रंगमंडल ने सराहनीय कार्य रहा है, जो कि मधेपुरा के कलाकरों के लिए बहुत बड़ी उपलब्धि है. एक साल में नवाचार ने राजकीय स्तर तक अपना मुकाम हासिल किया है. साथ ही उन्होंने कहा कि नवाचार अनुमंडल के लिए तन मन धन से मेरा पूरा सहयोग मिलता है और मिलता रहेगा. वही संस्था के संरक्षक संजय परमार ने आभार प्रकट करते हुये कहा कि रेणु के मार्गदर्शन का लाभ कलाकार उठाये. मौके पर संस्था के उपाध्यक्ष मिथुन कुमार गुप्ता, संयुक्त सचिव सुनीत साना, दिलखुश कुमार, कोषाध्यक्ष अमित कुमार अंशु, कार्यक्रम पदाधिकारी अमित आनंद, अक्षय शर्मा, कार्तिक कुमार, बमबम कुमार, सुमन कुमार, आदित्य कुमार, नवीन कुमार, पीयूष कुमार, मेराज आलम, अंशु कुमार, सुमित कुमार, मोहम्मद साहेब आदि मौजूद थे.