आक्रोश जच्चे-बच्चे की हुई मौत, हंगामा
सीएस ने जांच के लिए बनायी कमेटी, 24 घंटे में दी जायेगी रिपोर्ट
डीएम के निर्देश पर मामले की जांच करने पहुंचे अवर निर्वाचन पदाधिकारी
बोर्ड का गठन कर शव का कराया गया पोस्टमार्टम
सदर अस्पताल में मरीजों के जीवन से खिलवाड़ किया जा रहा है. एक माह में प्रसव के दौरान तीन महिलाओं की जान जा चुकी है. सभी में चिकित्सकों की लापरवाही का ही मामला सामने आया है. फिर भी अस्पताल प्रशासन के रवैये में कोई सुधार नहीं हो रहा है. आये दिन अस्पताल में तोड़-फोड़ की घटनाएं अब आम बात हो गयी है. मरीजों को बेहतर स्वास्थ्य सेवा देने में आइएसओ से मान्यता प्राप्त सदर अस्पताल पूरी तरह फिसड्डी साबित हो रहा है. बुधवार को भी प्रसव के लिए आयी एक महिला की ऑपरेशन थियेटर में ही मौत हो गयी.
आरा : प्रसव के लिए आयी महिला मरीज की ऑपरेशन के दौरान मौत हो गयी. इसके बाद परिजनों का गुस्सा फूटा पड़ा. परिजनों ने चिकित्सक पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए जम कर हंगामा किया. परिजनों के हंगामे को देखते हुए ओटी में तैनात चिकित्सक व कर्मी भाग खड़े हुए. सूचना मिलते ही सिविल सर्जन डॉ एसके अमन सदर अस्पताल पहुंचे.
जहां मामले की जांच को लेकर मेडिकल बोर्ड का गठन किया गया. परिजनों का गुस्सा यहीं नहीं थमा, शव के साथ सड़क पर उतर आये. अस्पताल प्रशासन और चिकित्सकों के खिलाफ नारेबाजी करते हुए सदर अस्पताल रोड को पूरी तरह जाम कर यातायात को बाधित कर दिया. जिलाधिकारी डॉ बीरेंद्र प्रसाद यादव ने मामले को गंभीरता से लेते हुए मामले की जांच को लेकर अवर निर्वाचन पदाधिकारी विकास कुमार को भेजा. परिजन मरीज की मौत का जिम्मेवार चिकित्सक के विरुद्ध कड़ी कार्रवाई की मांग कर रहे थे.
मिली जानकारी के अनुसार नगर थाना क्षेत्र के भलुहीपुर मुहल्ला निवासी राज कुमार शर्मा की पत्नी जगरानी देवी प्रसव के लिए सदर अस्पताल आयी थी. वह पूरी तरह से स्वस्थ थी. प्रसव पीड़ा होने पर उसे ऑपरेशन थियेटर में ऑपरेशन के लिए ले जाया गया. जहां उसकी ऑपरेशन के दौरान ही मौत हो गयी. विकास कुमार के आश्वासन के बाद जाम को हटाया गया. वहीं सीएस ने कहा कि महिला में खून की कमी थी. जो परिजनों को चिकित्सकों द्वारा बताया गया था.
टीम का गठन कर किया गया पोस्टमार्टम : महिला के शव का पोस्टमार्टम करने के लिए अस्पताल उपाधीक्षक सतीश कुमार सिन्हा के नेतृत्व में टीम का गठन किया गया. इसमें डॉ आरएन यादव, डॉ तेजनारायण, डॉ केएन सिन्हा और डॉ मधुबाला को रखा गया है.
मामले की जांच को लेकर बनायी गयी कमेटी : महिला की हुई मौत के मामले की जांच को लेकर सीएस ने डीएस के नेतृत्व में पांच सदस्यीय कमेटी का गठन किया गया है. कमेटी 24 घंटे के अंदर जांच कर अपनी रिपोर्ट सौंपेगी. कमेटी में डॉ मधुबाला, डॉ केएन सिन्हा, डॉ अरुण कुमार, डॉ रवि रंजन को रखा गया है.
जांच में पायी गयी लापरवाही, तो कार्रवाई तय : सीएस डॉ एसके अमन ने बताया कि ओटी में महिला चिकित्सक आरती कुमारी द्वरा ऑपरेशन किया जा रहा था. ऐसे में अगर चिकित्सक की तरफ से लापरवाही बरतने का मामला सामने आता है, तो कार्रवाई तय है. उन्होंने कहा कि जांच कमेटी अपनी जांच शुरू कर दी है.
घंटों अस्पताल में मची रही अफरा-तफरी : इस घटना के बाद मृत महिला के परिजनों ने अस्पताल परिसर में जम कर हंगामा किया, जिससे अस्पताल परिसर में अफरा-तफरी का माहौल कायम हो गया. परिजनों के गुस्से को देखते हुए पुलिस बलों को बुलाना पड़ा. पुलिस को भी गुस्साये लोगों को समझाने में पसीने छूट गये. कई पुलिसकर्मियों को तो उनका कोपभाजन भी होना पड़ा.
एक माह में गयीं तीन प्रसूति महिलाओं की जान : अस्पताल की व्यवस्था का आप इसी से अंदाजा लगा सकते हैं कि प्रसव के लिए आयी तीन महिलाओं की जान सदर अस्पताल में व्याप्त कुव्यवस्था और चिकित्सकों की लापरवाही के कारण चली गयी. इसके पहले भी मामले की जांच को लेकर बोर्ड का गठन किया गया था.
सब कुछ ठीक नहीं चल रहा सदर अस्पताल में सीएस साहब : मरीज के परिजनों ने सीएस से कहा कि सदर अस्पताल में कुछ भी ठीक नहीं चल रहा है. इसका जवाब सीएस के पास कुछ नहीं था. एक-एक कर कई मरीजों ने सीएस को अपना दुखड़ा सुनाया. मरीजों का कहना था कि नर्स को बुलाने पर डांट कर भगा देती है. सदर अस्पताल सिर्फ भगवान भरोसे चल रहा है. परिजनों ने बताया कि जगरानी देवी को इलाज के लिए कल भी लाया गया था, लेकिन चिकित्सकों ने जांच करने के बाद भरती नहीं किया.
शव के साथ अस्पताल रोड को घंटों किया जाम
इमरजेंसी से गायब रहनेवाले दो चिकित्सकों पर गिरी गाज
गत दिनों सड़क दुर्घटना में जख्मी युवक को एक घंटे तक इलाज के लिए तड़पना पड़ा था और चिकित्सक इमरजेंसी में नहीं थे. इसके बाद जख्मी युवक के परिजनों ने जम कर हंगामा किया था. इस मामले में दो चिकित्सकों पर गाज गिर गयी है. वहीं इन पर कार्रवाई के लिए स्वास्थ्य विभाग के प्रधान सचिव को लिखा गया है. सीएस ने बताया कि डॉ टीए अंसारी और डॉ संजय कुमार सिन्हा को दोषी पाते हुए विभाग को कार्रवाई के लिए लिखा गया है.