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कांग्रेस की कभी बदनामी नहीं, मृत्यु जैसा वरदान : पीएम
नयी दिल्ली : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को राज्यसभा में जीएसटी तथा अन्य विधेयकों को पारित करने के लिए विपक्ष से सहयोग मांगा. राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर हुई चर्चा का जवाब देते हुए प्रधानमंत्री ने कांग्रेस पर तंज भी कसे. उन्होंने कहा, मृत्यु को एक वरदान है, वह कभी बदनाम नहीं […]
नयी दिल्ली : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को राज्यसभा में जीएसटी तथा अन्य विधेयकों को पारित करने के लिए विपक्ष से सहयोग मांगा. राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर हुई चर्चा का जवाब देते हुए प्रधानमंत्री ने कांग्रेस पर तंज भी कसे. उन्होंने कहा, मृत्यु को एक वरदान है, वह कभी बदनाम नहीं होती. कोई व्यक्ति मरता है तो कैंसर, दुर्घटना आदि पर दोष दे दिया जाता है.
मृत्यु को कोई दोष नहीं देता. इसके बाद उन्होंने कहा – कांग्रेस को भी वरदान है. हम कांग्रेस की जब आलोचना करते हैं, उन पर आरोप लगाते हैं तो कहा जाता है कि विपक्ष पर हमला किया गया, विपक्ष पर आरोप लगाया गया.
मोदी ने कहा – जबकि बसपा, जदयू, शरद पवार के नेतृत्व वाली राकांपा पर आरोप लगाते हैं तो कहा जाता है कि इन पार्टियों पर आरोप लगाया गया. लेकिन कांग्रेस पर आरोप लगने पर कहा जाता है कि विपक्ष पर आरोप लगाया गया. प्रधानमंत्री ने आश्चर्य जताते हुए कहा-यह गजब का विज्ञान है.
उन्होंने राजस्थान और हरियाणा में चुनाव लडने के लिए शिक्षित होने की अनिवार्यता को लेकर कांग्रेस की आलोचना के जवाब में कहा कि इन बदलावों को उच्चतम न्यायालय ने मंजूरी दी है. उन्होंने कहा कि हम जो कहते हैं, प्रखरता से कहते हैं. यदि कांग्रेस को अशिक्षितों के बारे में बोलना है तो वह स्पष्ट रुप से बोले.’
प्रधानमंत्री ने कांग्रेस को चुनौती दी कि वह चुनाव में कम से कम 30 प्रतिशत टिकट यदि अशिक्षितों को दें तो उससे यह पता चल पाएगा कि वह इनके प्रति प्रतिबद्ध है. मोदी ने गुजरात के मुख्यमंत्री रहने के दौरान अपना एक अनुभव साझा करते हुए कहा कि एक सभा में उन्होंने महिलाओं से पूछा कि वह कितना पढी हैं. कई युवा महिलाओं ने बताया कि वे अशिक्षित हैं. साथ ही कुछ 80 या 85 साल की ऐसी महिलाएं थीं जो पढ़ी लिखी थीं. इस बारे में पता करने पर यह मालूम हुआ कि वे बुजुर्ग महिलाएं गायकवाड़ रियासत की नागरिक थीं जहां बेटियों को नहीं पढ़ाने पर एक रुपये का दंड लगता था. किंतु कम उम्र वाली महिलाएं स्वतंत्र भारत की नागरिक थीं.
सरकार हारी, रास में विपक्ष का प्रस्ताव पारित
राज्यसभा में बुधवार को केंद्र सरकार को उस समय बड़ा झटका लगा, जब चुनाव लड़ने की योग्यता संबंधी विपक्ष का संशोधन वोटिंग के दौरान पारित हो गया. सरकार के पक्ष में 61 वोट पड़े, जबकि विपक्ष को 94 वोट मिले. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इसी मुद्दे पर कांग्रेस पर तीखे तंज कसते हुए कहा था कि अगले महीने पांच राज्यों में हो रहे विधानसभा चुनावों में कांग्रेस अनपढ़ प्रत्याशी उतार कर देखे. राज्य सभा में विपक्ष के नेता गुलाम नबी आजाद ने राष्ट्रपति के अभिभाषण पर चुनाव लड़ने के दौरान मौलिक अधिकारों की सुरक्षा को लेकर संशोधन प्रस्ताव पेश किया था. संशोधन पर वोटिंग हुई. धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा का जवाब देते हुए पीएम ने कहा, ‘आप अशिक्षित लोगों को टिकट दीजिए और देखिए कि कैसा अनुभव होता है.’
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