सहरसा-थरबिटीया रेल खंड. नवनिर्मित बड़ी रेल लाइन पर चला इंजन
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बड़ी रेल लाइन पर अभी यात्री ट्रेन नहीं
सहरसा-थरबिटीया रेल खंड. नवनिर्मित बड़ी रेल लाइन पर चला इंजन 95 दिन के मेगा ब्लॉक के बाद सहरसा-थरबिटीया रेल खंड के नवनिर्मित बड़ी रेल लाइन पर रेल इंजन की सीटी बजी. बड़ी रेल लाइन पर इंजन के परिचालन से लोगों में खुशी दिखी. इंजन व उसके चालक का पंचगछिया स्टेशन पर स्वागत किया गया. सत्तरकटैया […]
95 दिन के मेगा ब्लॉक के बाद सहरसा-थरबिटीया रेल खंड के नवनिर्मित बड़ी रेल लाइन पर रेल इंजन की सीटी बजी. बड़ी रेल लाइन पर इंजन के परिचालन से लोगों में खुशी दिखी. इंजन व उसके चालक का पंचगछिया स्टेशन पर स्वागत किया गया.
सत्तरकटैया : सहरसा-थरबिटीया रेल खंड की नवनिर्मित बड़ी रेल लाइन पर शुक्रवार की देर शाम रेल इंजन के परिचालन होने से लोगों में खुशी की लहर दौड़ पड़ी है.
पिछले वर्ष 25 दिसंबर को विभाग द्वारा इस रेलखंड पर अमान परिवर्तन के लिए मेगा ब्लॉक लिए जाने के 95 दिन बाद रेल इंजन की सीटी सुनाई देते ही देखने वालों की भीड़ उमड़ पड़ी. पंचगछिया स्टेशन पर जैसे ही सीटी देते हुए इंजन पहुंचा, बाजार के दुकानदारों व स्थानीय लोगों ने उसे रोक कर फूल माला से लाद दिया.
वहीं इस इंजन के चालक का भव्य स्वागत किया गया. हालांकि इस रेलखंड पर कब से ट्रेन दौड़ेगी, इसके बारे में अभी तक सही जानकारी नहीं मिल पायी है. लेकिन विभाग द्वारा मार्च महीने में ही मालगाड़ी परिचालन की जानकारी दी गयी थी. 31 मार्च की देर शाम इंजन पहुंचने से लोगों को ट्रेन परिचालन होने की संभावना दिख रही है.
हालांकि इस रेल खंड पर बड़ी रेल लाइन निर्माण तथा प्लेटफॉर्म आदि निर्माण में अभी और समय लगने के आसार दिख रहे हैं.
आमान परिवर्तन के बाद यात्री सुविधा में होगी बढ़ोतरी
मीडिया प्रभारी सह सीनियर डीसीएम बीरेंद्र कुमार ने कहा कि इस खंड के सहरसा-सुपौल आमान परिवर्तन के बाद यात्रियों की सुविधा बढ़ेगी. इस खंड पर कुछ नये एक्सप्रेस ट्रेनों का परिचालन किया जायेगा. यात्री कम समय में अपने गंतव्य को पहुंच पायेंगे. अभी तक छोटी लाइन होने के कारण यात्रियों को दिक्कत होती थी. ट्रेनों की स्पीड भी कम होती थी. इससे यात्री को अपने गंतव्य तक जाने में अधिक समय लगता था. वहीं रेलवे ट्रैक की ऊंचाई भी करीब तीन फीट तक बढ़ जायेगी.
इससे बाढ़ के दौरान रेल ट्रैक को नुकसान नहीं पहुंचेगा. मालूम हो कि 2005 में मानसी से सहरसा बड़ी रेललाइन के चालू होने के बाद देश की पहली गरीब रथ ट्रेन सहरसा से शुरू हुई. इसके अलावे सहरसा-आदर्शनगर दिल्ली पुरबिया एक्सप्रेस, सहरसा-अमृतसर जनसेवा व जनसाधारण एक्सप्रेस, जानकी एक्सप्रेस,
राजधानी के लिए कोसी एक्सप्रेस, राज्यरानी एक्सप्रेस, रात्रि कालीन ट्रेन जनहित एक्सप्रेस सहित सहरसा-पूर्णिया के बीच कई पैसेंजर ट्रेन चली. हालांकि लोगों में एक भय भी सताने लगा है कि कोसी, जानकी की तरह अन्य ट्रेन को भी कहीं सुपौल तक बड़ी रेल लाइन बनने के बाद विस्तारित न कर दिया जाय. लोगों ने कहा कि ट्रेन विस्तारित करने के अलावे नयी ट्रेन की सौगात मिले.
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