ढाका : बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना ने विवादास्पद चुनाव में अपने पुनर्निर्वाचन को वैध करार हुए अपनी चिर प्रतिद्वंद्वी खालिदा जिया से कहा है कि वह अगले चुनाव को लेकर कोई समझौता करने के लिए आतंकवाद से किनारा करें तथा कट्टरपंथी जमात-ए-इस्लामी से संबंध तोड़ें.
हसीना ने मुख्य विपक्षी बांग्लादेश नेशनलिस्ट पार्टी (बीएनपी) की नेता खालिदा के सामने शांति की पेशकश करते हुए कहा, मैं फिर से विपक्ष की सम्मानित नेता (खालिदा) से शांतिपूर्ण बातचीत करने तथा साथ ही आतंकवाद एवं हिंसा का रास्ता त्यागने और अपराधियों व आतंकी जमात से ताल्लुक खत्म करने का आह्वान करती हूं.
उन्होंने संवाददाताओं से कहा, अगले चुनाव को लेकर सिर्फ बातचीत के जरिए ही समाधान निकाला जा सकता है. इसके लिए सभी लोगों को संयम बरतने तथा हर तरह की हिंसा रोकने की जरुरत है. हसीना ने कहा कि कल संपन्न हुए चुनाव का बीएनपी द्वारा बहिष्कार करने का यह मतलब नहीं है कि चुनाव की वैधानिकता पर सवाल खड़े किए जाएंगे. उन्होंने कहा कि इस चुनाव में जनता और दूसरे दलों ने हिस्सा लिया है.
उधर, विदेशी पत्रकारों के साथ बातचीत में हसीना ने कहा कि बीएनपी का एक आतंकी संगठन से गहरा नाता है जो दोनों प्रमुख दलों के बीच राजनीतिक सहमति बनने में अवरोधक है. उनका इशारा जमात-ए-इस्लामी की ओर था.
हसीना की अवामी लीग ने कल 147 सीटों पर हुए मतदान में 104 सीटों पर जीत दर्ज की है. उसे 127 सीटों पर पहले ही निर्विरोध जीत मिल गई थी. इसका मतलब यह है कि मौजूदा संसद में उसके पास 231 सीटें हैं जो तीन चौथाई बहुमत होता है. उन्होंने कहा कि अवामी लीग और खालिदा जिया की बीएनपी के बीच सहमति बनने पर नए सिरे से चुनाव कराया जा सकता है.
यहां चुनाव को लेकर भड़की हिंसा में करीब 30 लोग मारे गए हैं. विपक्षी दलों ने चुनाव के खिलाफ राष्ट्रव्यापी हड़ताल का आह्वान किया है तो प्रधानमंत्री हसीना ने सुरक्षा बलों को किसी भी कीमत पर निर्दोष लोगों की हत्या रोकने का आदेश दिया है. यहां रविवार को मतदान हुआ था जिसमें बहुत कम लोगों ने हिस्सा लिया. बीएनपी के नेतृत्व वाले 18 दलों के गठबंधन ने इसका बहिष्कार किया था. विपक्षी कार्यकर्ताओं ने कल 200 से अधिक मतदान केंद्रों को आग के हवाले कर दिया था.