वाशिंगटन: मुंबई में आतंकवादी हमले से महीनों पहले भारत को सीआईए तथा कुछ दूसरी एजेंसियों से कम से कम 26 चेतावनी मिली थीं कि लश्कर-ए-तैयबा बड़ी आतंकवादी हमले की फिराक में है. एक पुस्तक में यह दावा किया गया है.पत्रकार कैथी स्कॉट क्लॉर्क एवं एड्रियन लेवी की पुस्तक ‘द सीज: 68 आवर्स इनसाइड द ताज होटल’ में दावा किया है कि इन चेतावनियों में से 11 में सुझाव दिया गया था कि हमले में एक साथ कई स्थानों को निशाना बनाया जाएगा.
पेंग्विन यूएसए द्वारा प्रकाशित पुस्तक में कहा गया है, ‘‘छह चेतावनियों में समुद्र के जरिए घुसपैठ का उल्लेख करते हुए कहा गया कि यह भारत में पहली तरह का हमला होगा.’’इसके अनुसार साल 2007 में तत्कालीन अमेरिकी राष्ट्रपति जॉर्ज डब्ल्यू बुश के कार्यालय के लोगों को यूरोपीय सहयोगियों से इस बारे में एक चेतावनी मिली थी कि लश्कर अपनी गतिविधियां क्षेत्र से बाहर बढ़ाने की योजना बना रहा है, लेकिन इस चेतावनी को अमेरिका ने भी नजरअंदाज कर दिया.