वियना : संयुक्त राष्ट्र परमाणु परीक्षण प्रतिबंध संधि संगठन के प्रमुख ने कहा है कि एक दूसरे के कट्टर दुश्मन ईरान और इस्राइल उन आठ देशों में शामिल हैं जो सबसे पहले इस अहम संधि की पुष्टि कर सकते हैं और साथ ही विश्व को आश्वासन दे सकते हैं कि वे दोनों कभी परमाणु परीक्षण नहीं करेंगे.
लासिना जेरबू ने इस सप्ताह कहा कि ईरान और इस्राइल के एक साथ संधि की पुष्टि करने से ‘‘निश्चित’रूप से मिस्र भी इसकी पुष्टि करेगा और इससे मध्य एशिया में परमाणु परीक्षण मुक्त क्षेत्र का मार्ग प्रशस्त होगा. व्यापक परमाणु परीक्षण संधि, जिसे सीटीबीटी के नाम से भी जाना जाता है, में 196 देश हैं और 183 देशों ने इस पर हस्ताक्षर किए हैं तथा 164 ने इसकी पुष्टि की है. लेकिन संधि को किर्यान्वित नहीं किया जा सका है क्योंकि इसे अमल में लाने के लिए अभी भी ऐसे आठ देशों द्वारा पुष्टि किए जाने की जरूरत है जिनके पास 1996 में संयुक्त राष्ट्र महासभा द्वारा इस संधि को स्वीकार किए जाने के समय से परमाणु उर्जा रिएक्टर हैं या शोध रिएक्टर हैं. इनमें अमेरिका, चीन, ईरान, इस्राइल, मिस्र, भारत, पाकिस्तान और उत्तर कोरिया हैं. जेरबू ने कहा कि पुष्टि को लेकर उन्हें तत्काल परिणाम मिलने की उम्मीद नहीं है लेकिन वह ईरान और इस्राइल की यात्रा की उम्मीद कर रही हैं जहां उनके नेताओं से बात होगी. क्योंकि ‘‘मेरा मानना है कि ये वही पक्ष हैं जो सीटीबीटी पर आगे बढने का रास्ता खोल सकते हैं.’