महिलाओं के लिए सरकारी योजना
रांची :यह योजना अंतरराष्ट्रीय कृषि विकास कोष (आइफाड), भारत सरकार और झारखंड सरकार की मदद से संचालित किया जा रहा है. योजना में ग्राम सभा, समुदाय का सशक्तीकरण कर आदिवासियों एवं गरीब परिवारों की आजीविका के अवसरों में सुधार और उनकी आर्थिक स्थिति सुधारने का कार्यक्रम तय किया गया है. आदिवासी परिवारों के लिए खाद्यान्न सुरक्षा सुनिश्चित कर उनके जीवन स्तर में सुधार लाना भी कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य है.
इसका दूसरा चरण राज्य में शुरू किया जा रहा है. पहले चरण में 330 गांवों में 36 हजार परिवारों के माध्यम से कुल 1.82 लाख लाभुकों को लाभ पहुंचाया गया. योजना में 55 फीसदी महिलाएं थीं. आदिवासी विकास कार्यक्रम के माध्यम से महिला सशक्तीकरण सुनिश्चित कर राज्य की बालिकाओं के बेहतर विकास की आधारशिला रखने की यह महत्वपूर्ण योजना है.
कैसे स्वावलंबी बनी महिलाएं
पहले चरण में कुल 1462 स्वयं सहायता समूहों को 10 हजार रुपये प्रति समूह की दर से अनुदान राशि दी गयी. विभिन्न स्तरों पर सचेतक के रूप में 306 महिलाओं, सामुदायिक स्वास्थ्य कार्यकर्ता के रूप में 149 महिलाएं, पारंपरिक दाई के रूप में 52 महिलाएं और सामुदायिक प्रशिक्षक के रूप में 72 महिलाओं को प्रशिक्षित किया गया. इनके जरिये आदिवासी महिलाओं के विकास की योजनाएं सफलता से पूरी की गयीं.
दूसरे चरण में 645 करोड़ झारखंड को
दूसरे चरण में 12 सौ गांवों में यह कार्यक्रम चलना है. योजना के तहत 645 करोड़ रुपये झारखंड को मिलेंगे. झारखंड के जनजातीय आबादीवाले इलाकों में संसाधन और मूलभूत आवश्यकताओं की उपलब्धता भी कार्यक्रम का एक हिस्सा है.