कोलकाता. दुर्गापूजा के शुरू होने से पहले रेलवे ने यात्रियों की सुरक्षा के लिए चाक-चौबंद व्यवस्था का दावा किया गया था लेकिन दुर्गापूजा के अंतिम दिन यानी विजय दशमी के दिन ही हावड़ा-बर्दमान लोकल ट्रेन में डकैतों ने जमकर उत्पात मचाया. रात के वक्त ट्रेन के खाली होने का फायदा उठाते हुए डकैतों ने यात्रियों के कीमती मोबाइल फोन और रुपये छिन लिये. विरोध करने पर यात्रियों को उन्होंने मारा-पीट भी. यात्रियों का आरोप था कि ट्रेन में कोई भी सुरक्षाकर्मी मौजूद नहीं था.
घटना के बाद होश में आयी रेलवे राजकीय पुलिस ने अभियान चलाकर छह में से पांच आरोपी डकैतों को स्टेशन के आसपास के इलाके से गिरफ्तार कर लिया. उनके पास से दो स्मार्ट फोन, सात हजार रुपये नकदी, चाकू, डकैती में करने में इस्तेमाल होनेवाले उपकरण और कई छोटे-छोटे धारदार हथियार बरामद किये हैं. गिरफ्तार आरोपियों के नाम नसीरुद्दीन रियाज(22), शेख मनीरुद्दीन (20), शेख फिरोज (24), शेख बादशाह (22) और रदीम(19) हैं जिसमें शेख मनीरुद्दीन, शेख फिरोज और शेख बादशाह चंडीतला थाना अंतर्गत बेगमपुरा के निवासी हैं जबकि शेख फिरोज डानकुनी और रदीम हुगली के चंडीतला का निवासी है.
जीआरपी सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, रात 9.43 बजे हावड़ा स्टेशन से अप हावड़ा-बर्दमान पैसेंजर ट्रेन रवाना हुई. रात करीब 10.35 के आसपास ट्रेन हावड़ा मंडल के मिर्जापुर स्टेशन पर पहुंची थी कि तभी ट्रेन में सवार छह लोगों ने यात्रियों से कहा कि वह सारा कीमती सामान और रुपये-पैसे उनके हवाले कर दें. हथियारों से लैस डकैतों ने ऐसा नहीं करने पर अंजाम बुरा होने की धमकी भी दी. डकैतों ने ट्रेन में सवार शेख फैदुल और शेख फैयाजुद्दीन का मोबाइल फोन और रुपये जबरन छीन लिये. खींचतान में शेख फैदुल और उसके चाचा शेख फैयाजुद्दीन घायल हो गये. घटना को अंजाम देने के बाद सभी आरोपी हथियार लहराते हुए फरार हो गये. ट्रेन के कमारकुंडू स्टेशन पर रुकने पर यात्रियों ने घटना की जानकारी जीआरपी को दी.